Wednesday 31 October 2012

chote bhai ki bibi ke sath

chote bhai ki bibi ke sath
निशा मेरे छोटे भाई रुपम की वाइफ़ है। निशा काफ़ी सुंदर महिला है। उसका बदन
ऊपरवाले ने काफ़ी तसल्ली से तराश कर बनाया है। मैं शिवम उसका जेठ हूं। मेरी
शादी को दस साल हो चुके हैं। निशा शुरु से ही मुझे काफ़ी अच्छी लगती थी।
मुझसे वो काफ़ी खुली हुई थी। रुपम एक यूके बेस्ड कम्पनी में सर्विस करता
था। हां बताना तो भूल ही गया निशा का मायका नागपुर में है और हम जालंधर
में रहते हैं।
आज से कोई पांच साल पहले की बात है। हुआ यूं कि शादी के
एक साल बाद ही निशा प्रिग्नेंट हो गयी। डिलीवरी के लिये वो अपने मायके गयी
हुई थी। सात महीने में प्रीमेच्योर डिलीवरी हो गयी। बच्चा शुरु से ही काफ़ी
वीक था। दो हफ़्ते बाद ही बच्चे की डेथ हो गयी। रुपम तुरंत छुट्टी लेकर
नागपुर चला गया। कुछ दिन वहां रह कर वापस आया। वापस अकेला ही आया था।
डिसाइड ये हुआ था कि निशा की हालत थोड़ी ठीक होने के बाद आयेगी। एक महीने
के बाद जब निशा को वापस लाने की बात आयी तो रुपम को छुट्टी नहीं मिली।
निशा को लेने जाने के लिये रुपम ने मुझे कहा। सो मैं निशा को लेने ट्रैन
से निकला। निशा को वैसे मैने कभी गलत निगाहों से नहीं देखा था। लेकिन उस
यात्रा मे हम दोनो में कुछ ऐसा हो गया कि मेरे सामने हमेशा घूंघट में
घूमने वाली निशा बेपर्दा हो गयी।
हमारी टिकट 1st class में बुक थी। चार
सीटर कूपे में दो सीट पर कोई नहीं आया। हम ट्रैन में चढ़ गये। गरमी के दिन
थे। जब तक ट्रैन स्टेशन से नहीं छूटी तब तक वो मेरे सामने घूंघट में खड़ी
थी। मगर दूसरों के आंखों से ओझल होते ही उसने घूंघट उलट दिया और कहा,
"अब
आप चाहे कुछ भी समझें मैं अकेले में आपसे घूंघट नहीं करूंगी। मुझे आप
अच्छे लगते हो आपके सामने तो मैं ऐसी ही रहूंगी।" मैं उसकी बात पर हँस पड़ा।
"मैं
भी घूंघट के समर्थन में कभी नहीं रहा।" मैने पहली बार उसके बेपर्दा चेहरे
को देखा। मैं उसके खूबसूरत चेहरे को देखता ही रह गया। अचानक मेरे मुंह से
निकला
"अब घूंघट के पीछे इतना लाजवाब हुश्न छिपा है उसका पता कैसे
लगता।" उसने मेरी ओर देखा फ़िर शर्म से लाल हो गयी। उसने बोतल ग्रीन रंग की
एक शिफ़ोन की साड़ी पहन रखी थी। ब्लाउज़ भी मैचिंग पहना था। गर्मी के कारण
बात करते हुए साड़ी का आंचल ब्लाउज़ के ऊपर से सरक गया। तब मैने जाना कि
उसने ब्लाउज़ के अन्दर ब्रा नही पहनी हुई है। उसके स्तन दूध से भरे हुए थे
इसलिये काफ़ी बड़े बड़े हो गये थे। ऊपर का एक हुक टूटा हुआ था इसलिये उसकी
आधी छातियां साफ़ दिख रही थी। पतले ब्लाउज़ में से ब्रा नहीं होने के कारण
निप्पल और उसके चारों ओर का काला घेरा साफ़ नजर आ रहा था। मेरी नजर उसकी
छाती से चिपक गयी। उसने बात करते करते मेरी ओर देखा। मेरी नजरों का अपनी
नजरों से पीछा किया और मुझे अपने बाहर छलकते हुए बूब को देखता पाकर शर्मा
गयी और जल्दी से उसे आंचल से ढक लिया। हम दोनो बातें करते हुए जा रहे थे।
कुछ देर बाद वो उठकर बाथरूम चली गयी। कुछ देर बाद लौट कर आयी तो उसका
चेहरा थोड़ा गम्भीर था। हम वापस बात करने लगे। कुछ देर बाद वो वापस उठी और
कुछ देर बाद लौट कर आ गयी। मैने देखा वो बात करते करते कसमसा रही है। अपने
हाथो से अपने ब्रेस्ट को हलके से दबा रही है।
"कोई प्रोब्लम है क्या?' मैने पूछा।
"न।।नहीं" मैने उसे असमंजस में देखा। कुछ देर बाद वो फिर उठी
तो मैने कहा "मुझे बताओ न क्या प्रोब्लम है?"
वो
झिझकती हुई सी खड़ी रही। फ़िर बिना कुछ बोले बाहर चली गयी। कुछ देर बाद वापस
आकर वो सामने बैठ गयी।"मेरी छातियों में दर्द हो रहा है।" उसने चेहरा ऊपर
उठाया तो मैने देखा उसकी आंखें आंसु से छलक रही हैं।"क्यों क्या हुआ" मर्द
वैसे ही औरतों के मामले में थोड़े नासमझ होते हैं। मेरी भी समझ में नहीं
आया अचानक उसे क्या हो गया।"जी वो क्या है म्म वो मेरी छातियां भारी हो
रही हैं।" वो समझ नहीं पा रही थी कि मुझे कैसे समझाये आखिर मैं उसका जेठ
था।" म्मम मेरी छातियों में दूध भर गया है लेकिन निकल नहीं पा रहा है।"
उसने नजरें नीची करते हुए कहा।"बाथरूम जाना है?" मैने पूछा"गयी थी लेकिन
वाश-वेसिन बहुत गंदा है इसलिये मैं वापस चली अयी" उसने कहा "और बाहर के
वाश-वेसिन में मुझे शर्म आती है कोई देख ले तो क्या सोचेगा?" "फ़िर क्या
किया जाए?" मैं सोचने लगा "कुछ ऐसा करें जिससे तुम यहीं अपना दूध खाली कर
सको। लेकिन किसमें खाली करोगी? नीचे फ़र्श पर गिरा नहीं सकती और यहां कोई
बर्तन भी नही है जिसमें दूध निकाल सको"उसने झिझकते हुये फ़िर मेरी तरफ़ एक
नजर डाल कर अपनी नजरें झुका ली। वो अपने पैर के नखूनों को कुरेदती हुई
बोली, "अगर आप गलत नहीं समझें तो कुछ कहूं?""बोलो""आप इन्हें खाली कर
दीजिये न""मैं? मैं इन्हें कैसे खाली कर सकता हूं।" मैने उसकी छातियों को
निगाह भर कर देखा।"आप अगर इस दूध को पीलो……"उसने आगे कुछ नहीं कहा। मैं
उसकी बातों से एकदम भौचक्का रह गया।"लेकिन ये कैसे हो सकता है। तुम मेरे
छोटे भाई की बीवी हो। मैं तुम्हारे स्तनों में मुंह कैसे लगा सकता हूं""जी
आप मेरे दर्द को कम कर रहे हैं इसमें गलत क्या है। क्या मेरा आप पर कोई हक
नहीं है।?" उसने मुझसे कहा "मेरा दर्द से बुरा हाल है और आप सही गलत के
बारे में सोच रहे हो। प्लीज़।"मैं चुप चाप बैठा रहा समझ में नहीं आ रहा था
कि क्या कहूं। अपने छोटे भाई की बीवी के निप्पल मुंह में लेकर दूध पीना एक
बड़ी बात थी। उसने अपने ब्लाउज़ के सारे बटन खोल दिये।"प्लीज़" उसने फ़िर कहा
लेकिन मैं अपनी जगह से नहीं हिला।"जाइये आपको कुछ भी करने की जरूरत नहीं
है। आप अपने रूढ़ीवादी विचारों से घिरे बैठे रहिये चाहे मैं दर्द से मर ही
जाउं।" कह कर उसने वापस अपने स्तनों को आंचल से ढक लिया और अपने हाथ आंचल
के अंदर करके ब्लाउज़ के बटन बंद करने की कोशिश करने लगी लेकिन दर्द से
उसके मुंह से चीख निकल गयी "आआह्हह्ह" ।मैने उसके हाथ थाम कर ब्लाउज़ से
बाहर निकाल दिये। फ़िर एक झटके में उसके आंचल को सीने से हटा दिया। उसने
मेरी तरफ़ देखा। मैं अपनी सीट से उठ कर केबिन के दरवाजे को लोक किया और
उसके बगल में आ गया। उसने अपने ब्लाउज़ को उतार दिया। उसके नग्न ब्रेस्ट जो
कि मेरे भाई की अपनी मिल्कियत थी मेरे सामने मेरे होंठों को छूने के लिये
बेताब थे। मैने अपनी एक उंगली को उसके एक ब्रेस्ट पर ऊपर से फ़ेरते हुए
निप्पल के ऊपर लाया। मेरी उंगली की छुअन पा कर उसके निप्पल अंगूर की साइज़
के हो गये। मैं उसकी गोद में सिर रख कर लेट गया। उसके बड़े बड़े दूध से भरे
हुए स्तन मेरे चेहरे के ऊपर लटक रहे थे। उसने मेरे बालों को सहलाते हुए
अपने स्तन को नीचे झुकाया। उसका निप्पल अब मेरे होंठों को छू रहा था। मैने
जीभ निकाल कर उसके निप्पल को छूआ।"ऊओफ़्फ़फ़्फ़ जेठजी अब मत सताओ। पलेअसे इनका
रस चूस लो।" कहकर उसने अपनी छाती को मेरे चेहरे पर टिका दिया। मैने अपने
होंठ खोल कर सिर्फ़ उसके निप्पल को अपने होंठों में लेकर चूसा। मीठे दूध की
एकतेज़ धार से मेरा मुंह भर गया। मैने उसकी आंखों में देखा। उसकी आंखों में
शर्म की परछाई तैर रही थी। मैने मुंह में भरे दूध को एक घूंठ में अपने गले
के नीचे उतार दिया।"आआअह्हह्हह" उसने अपने सिर को एक झटका दिया।मैने फ़िर
उसके निप्पल को जोर से चूसा और एक घूंठ दूध पिया। मैं उसके दूसरे निप्पल
को अपनी उंगलियों से कुरेदने लगा।"ऊओह्हह ह्हह्हाआन्न हाआन्नन जोर से चूसो
और जोर से। प्लीज़ मेरे निप्पल को दांतों से दबाओ। काफ़ी खुजली हो रही है।"
उसने कहा। वो मेरे बालों में अपनी उंगलियां फ़ेर रही थी। मैने दांतों से
उसके निप्पल को जोर से दबाया।"ऊउईईइ" कर उठी। वो अपने ब्रेस्ट को मेरे
चेहरे पर दबा रही थी। उसके हाथ मेरे बालों से होते हुए मेरी गर्दन से आगे
बढ़ कर मेरे शर्ट के अन्दर घुस गये। वो मेरी बालों भरी छाती पर हाथ फ़ेरने
लगी। फ़िर उसने मेरे निप्पल को अपनी उंगलियों से कुरेदा। "क्या कर रही हो?"
मैने उससे पूछा।"वही जो तुम कर रहे हो मेरे साथ" उसने कहा"क्या कर रहा हूं
मैं तुम्हारे साथ" मैने उसे छेड़ा"दूध पी रहे हो अपने छोटे भाई की बीवी के
स्तनों से""काफ़ी मीठा है""धत" कहकर उसने अपने हाथ मेरे शर्ट से निकाल लिये
और मेरे चेहरे पर झुक गयी। इससे उसका निप्पल मेरे मुंह से निकल गया। उसने
झुक कर मेरे लिप्स पर अपने लिप्स रख दिये और मेरे होंठों के कोने पर लगे
दूध को अपनी जीभ से साफ़ किया। फ़िर वो अपने हाथों से वापस अपने निप्पल को
मेरे लिप्स पर रख दी। मैने मुंह को काफ़ी खोल कर निप्पल के साथ उसके बूब का
एक पोर्शन भी मुंह में भर लिया। वापस उसके दूध को चूसने लगा। कुछ देर बाद
उस स्तन से दूध आना कम हो गया तो उसने अपने स्तन को दबा दबा कर जितना हो
सकता था दूध निचोड़ कर मेरे मुंह में डाल दिया।"अब दूसरा"मैने उसके स्तन को
मुंह से निकाल दिया फ़िर अपने सिर को दूसरे स्तन के नीचे एडजस्ट किया और उस
स्तन को पीने लगा। उसके हाथ मेरे पूरे बदन पर फ़िर रहे थे। हम दोनो ही
उत्तेजित हो गये थे। उसने अपना हाथ अगे बढ़ा कर मेरे पैंट की ज़िप पर रख
दिया। मेरे लिंग पर कुछ देर हाथ यूं ही रखे रही। फ़िर उसे अपने हाथों से
दबा कर उसके साइज़ का जायजा लिया।"काफ़ी तन रहा है" उसने शर्माते हुए
कहा।"तुम्हारी जैसी हूर पास इस अन्दाज में बैठी हो तो एक बार तो
विश्वामित्र की भी नीयत डोल जाये।""म्मम्म अच्छा। और आप? आपके क्या हाल
हैं" उसने मेरे ज़िप की चैन को खोलते हुए पूछा"तुम इतने कातिल मूड में हो
तो मेरी हालत ठीक कैसे रह सकती है" उसने अपना हाथ मेरे ज़िप से अन्दर कर
ब्रीफ़ को हटाया और मेरे तने हुए लिंग को निकालते हुए कहा "देखूं तो सही
कैसा लगता है दिखने में"मेरे मोटे लिंग को देख कर खूब खुश हुयी। "अरे बाप
रे कितना बड़ा लिंग है आपका। दीदी कैसे लेती है इसे?""आ जाओ तुम्हें भी
दिखा देता हूं कि इसे कैसे लिया जाता है।""धत् मुझे नहीं देखना कुछ। आप
बड़े वो हो" उसने शर्मा कर कहा।लेकिन उससे हाथ हटाने की कोई जल्दी नहीं
की।"इसे एक बार किस तो करो" मैने उसके सिर को पकड़ कर अपने लिंग पर झुकाते
हुए कहा। उसने झिझकते हुए मेरे लिंग पर अपने होंठ टिका दिये। अब तक उसका
दूसरा स्तन भी खाली हो गया था। उसके झुकने के कारण मेरे मुंह से निप्पल
छूट गया। मैने उसके सिर को हलके से दबाया तो उसने अपने होंठों को खोल कर
मेरे लिंग को जगह दे दी। मेरा लिंग उसके मुंह में चला गया। उसने दो तीन
बार मेरे लिंग को अन्दर बाहर किया फ़िर उसे अपने मुंह से निकाल लिया।"ऐसे
नहीं… ऐसे मजा नहीं आ रहा है""हां अब हमें अपने बीच की इन दीवारों को हटा
देना चाहिये" मैने अपने कपड़ों की तरफ़ इशारा किया। मैने उठकर अपने कपड़े
उतार दिये फ़िर उसे बाहों से पकड़ कर उठाया। उसकी साड़ी और पेटीकोट को उसके
बदन से अलग कर दिया। अब हम दोनो बिल्कुल नग्न थे। तभी किसी ने दरवाजे पर
नोक किया। "कौन हो सकता है।" हम दोनो हड़बड़ी में अपने अपने कपड़े एक थैली
में भर लिये और निशा बर्थ पर सो गयी। मैने उसके नग्न शरीर पर एक चादर डाल
दी। इस बीच दो बार नोक और हुअ। मैने दरवाजा खोला बाहर टीटी खड़ा था। उसने
अन्दर आकर टिकट चेक किया और कहा "ये दोनो सीट खाली रहेंगी इसलिये आप चाहें
तो अन्दर से लोक करके सो सकते हैं" और बाहर चला गया। मैने दरवाजा बंद किया
और निशा के बदन से चादर को हटा दिया। निशा शर्म से अपनी जांघों के जोड़ को
और अपनी छातियों को ढकने की कोशिश कर रही थी। मैने उसके हाथों को पकड़ कर
हटा दिया तो उसने अपने शरीर को सिकोड़ लिया और कहा "प्लीज़ मुझे शर्म आ रही
है।" मैं उसके ऊपर चढ़ कर उसकी योनि पर अपने मुंह को रखा। इससे मेरा लिंग
उसके मुंह के ऊपर था। उसने अपने मुंह और पैरों को खोला। एक साथ उसके मुंह
में मेरा लिंग चला गया और उसकी योनि पर मेरे होंठ सट गये।
"आह विशाल जी
क्या कर रहे हो मेरा बदन जलने लगा है। पंकज ने कभी इस तरह मेरी योनि पर
अपनी जीभ नहीं डाली" उसके पैर छटपटा रहे थे। उसने अपनी टांगों को हवा में
उठा दिया और मेरे सिर को उत्तेजना में अपनी योनि पर दबाने लगी। मैं उसके
मुंह में अपना लिंग अंदर बाहर करने लगा। मेरे हाठ उसकी योनि की फ़ांकों को
अलग कर रखे थे और मेरी जीभ अंदर घूम रही थी। वो पूरी तन्मयता से अपने मुंह
में मेरे लिंग को जितना हो सकता था उतना अंदर ले रही थी। काफ़ी देर तक इसी
तरह 69 पोज़िशन में एक दूसरे के साथ मुख मैथुन करने के बाद लगभग दोनो एक
साथ खल्लास हो गये। उसका मुंह मेरे रस से पूरा भर गया था। उसके मुंह से चू
कर मेरा रस एकपतली धार के रूप में उसके गुलाबी गालों से होता हुआ उसके
बालों में जाकर खो रहा था। मैं उसके शरीर से उठा तो वो भी उठ कर बैठ गयी।
हम दोनो एक दम नग्न थे और दोनो के शरीर पसीने से लथपथ थे। दोनो एक दूसरे
से लिपट गये और हमारे होंठ एक दूसरे से ऐसे चिपक गये मानो अब कभी भी न अलग
होने की कसम खा ली हो। कुछ मिनट तक यूं ही एक दूसरे के होंठों को चूमते
रहे फ़िर हमारे होंठ एक दूसरे के बदन पर घूमने लगे।"अब आ जाओ" मैने निशा को
कहा।"जेठजी थोड़ा सम्भाल कर। अभी अंदर नाजुक है। आपका बहुत मोटा हैकहीं कोई
जख्म न हो जाये।""ठीक है। चलो बर्थ पर हाथों और पैरों के बल झुक जाओ। इससे
ज्यादा अंदर तक जाता है और दर्द भी कम होता है।"निशा उठकर बर्थ पर चौपाया
हो गयी। मैं पीछे से उसकी योनि पर अपना लंड सटा कर हलका सा धक्का मारा।
गीली तो पहले ही हो रही थी। धक्के से मेरे लंड के आगे का टोपा अंदर धंस
गया। एक बच्चा होने के बाद भी उसकी योनि काफ़ी टाइट थी। वो दर्द से
"आआह्हह" कर उठी। मैं कुछ देर के लिये उसी पोज़ में शांत खड़ा रहा। कुछ देर
बाद जब दर्द कम हुआ तो निशा ने ही अपनी गांड को पीछे धकेला जिससे मेरा लंड
पूरा अंदर चला जाये।"डालो न रुक क्यों गये।""मैने सोचा तुम्हें दर्द हो
रहा है इसलिये।""इस दर्द का मजा तो कुछ और ही होता है। आखिर इतना बड़ा है
दर्द तो करेगा ही।" उसने कहा। फ़िर वो भी मेरे धक्कों का साथ देते हुए अपनी
कमर को आगे पीछे करने लगी। मैं पीछे से शुरु शुरु में सम्भल कर धक्का मार
रहा था लेकिन कुछ देर के बाद मैं जोर जोर से धक्के मारने लगा। हर धक्के से
उसके दूध भरे स्तन उछल उछल जाते थे। मैने उसकी पीठ पर झुकते हुए उसके
स्तनो को अपने हाथों से थाम लिया। लेकिन मसला नहीं, नहीं तो सारी बर्थ
उसके दूध की धार से भीग जाती। काफ़ी देर तक उसे धक्के मारने के बाद उसने
अपने सिर को को जोर जोर से झटकना चालू किया।"आआह्हह्ह शीईव्वव्वाअम्मम
आआअह्हह्ह तूउम्म इतनीए दिन कहा थीए। ऊऊओह्हह माआईईइ माअर्रर्रर जाऊऊं
गीइ। मुझीए माअर्रर्रर डालूऊओ मुझीए मसाअल्ल डाअल्लूऊ" और उसकी योनि में
रस की बौछार होने लगी। कुछ धक्के मारने के बाद मैने उसे चित लिटा दिया और
ऊपर से अब धक्के मारने लगा।"आअह मेरा गला सूख रहा है।" उसका मुंह खुला हुआ
था। और जीभ अंदर बाहर हो रही थी। मैने हाथ बढ़ा कर मिनरल वाटर की बोतल उठाई
और उसे दो घूंठ पानी पिलाया। उसने पानी पीकर मेरे होंठों पर एक किस
किया।"चोदो शिवम चोदो। जी भर कर चोदो मुझे।" मैं ऊपर से धक्के लगाने लगा।
काफ़ी देर तक धक्के लगाने के बाद मैने रस में डूबे अपने लिंग को उसकी योनि
से निकाला और सामने वाली सीट पर पीठ के बल लेट गया।"आजा मेरे उपर" मैने
निशा को कहा। निशा उठ कर मेरे बर्थ पर आ गयी और अपने घुटने मेरी कमर के
दोनो ओर रख कर अपनी योनि को मेरे लिंग पर सेट करके धीरे धीरे मेरे लिंग पर
बैठ गयी। अब वो मेरे लिंग की सवारी कर रही थी। मैने उसके निप्पल को पकड़ कर
अपनी ओर खींचा। तो वो मेरे ऊपर झुक गयी। मैने उसके निप्पल को सेट कर के
दबाया तो दूध की एक धार मेरे मुंह में गिरी। अब वो मुझे चोद रही थी और मैं
उसका दूध निचोड़ रहा था। काफ़ी देर तक मुझे चोदने के बाद वो चीखी "शिवम मेरे
निकलने वाला है। मेरा साथ दो। मुझे भी अपने रस से भिगो दो।" हम दोनो साथ
साथ झड़ गये। काफ़ी देर तक वो मेरे ऊपर लेटी हुई लम्बी लम्बी सांसे लेती
रही। फ़िर जब कुछ नोर्मल हुई तो उठ कर सामने वाली सीट पर लेट गयी। हम दोनो
लगभग पूरे रास्ते नग्न एक दूसरे को प्यार करते रहे। लेकिन उसने दोबारा
मुझे उस दिन और चोदने नहीं दिया, उसके बच्चेदानी में हल्का हल्का दर्द हो
रहा था। लेकिन उसने मुझे आश्वासन दिया। "आज तो मैं आपको और नहीं दे सकुंगी
लेकिन दोबारा जब भी मौका मिला तो मैं आपको निचोड़ लुंगी अपने अंदर। और हां
अगली बार मेरे पेट में देखते हैं दोनो भाईयों में से किसका बच्चा आता है।
उस यात्रा के दौरान कई बार मैने उसके दूध की बोतल पर जरूर हाथ साफ़ किया।

Dost Ki Dulhan Ko Mast Choda


Mera Naam Imran Hai, Mein 28 Saal Ka Hoon Aur Mein Virginia , USA Mein Pichlay 12 Saal Sai Reh Raha Hoon. Kuch 2 Saal Pehlay Meray Bachpan Ka Aik Dost Pakistan Sai Kisi Tarhan Visa Lay Kar Yahan Meray Paas Aa Gaya . USA Anay Sai 3 Months Pehlay Hi Usnay Shadi Ki Thi. Uski Shadi Ki Pictures Dekh Kar Mujhay Uski Kismat Per Rashk Aya Kyon Kay Uski Biwi, Shabana, Intahee Khoobsoorat Thi, Meray Dost Nai Bataya Kay Uski Biwi Ki Age 23 Sa al Hai. Meray Dost Kay Paas Work Visa Nahi Tha. Meinay Bhaag Daur Kar Kay Usay Apnay Aik Achay Dost Kay Gas Station Per Job Dila Di Aur Wahein Sai Usko Sponser Bhi Kara Diya. Abhi Uska Green Card Anay Mein Bohat Dair Thi.
Waqt Isi Tarhan Guzarta Raha. Woh Apni Biwi Ko Bohat Yaad Karta Tha Aur Bohat Koshish Mein Tha Kay Kisi Tarhan Uski Biwi Visit Visa Per Hi Yahan Aa Jayay. Aksar Biwi Ko Money Bhi Bhaijta Rehta Tha Isi Kaam Kay Liyay. Mein 2 Bedroom Kay Apt. Mein Rehta Tha Aur Woh Meray Saath Hi Rehta Tha. Phir December Ki Aik Cold Shaam Ko Usnay Mujhay Bataya Kay Uski Biwi Aa Rahi Hai. Meinay Usko Mubarakbaad Di Magar Usnay Kuch Pareshani Sai Kahan. Magar Yaar Aik Masla Hai. Usko USA Ka Visa Nahi Mila Magar Canada Ka Visa Mil Gaya Tha Aur Woh Already Toronto, Canada Mein Aa Chuki Hai Aur Apni Aik Door Ki Rishtay Daar Kay Haan Ruki Huee Hai. Woh Bola Yaar Bas Ab Usko Canada Ka Border Hi Paar Karna Hai. Uski Rishtay Daar Naiy Promise Kiya Hai Kay Is Wee kend (Yeh Thursday Ki Baat Hai) Per Woh Usko Apni Family (Husband Aur 3 Bachay) Kay Saath Aasani Sai Border Cross Kara Daigi. Mein Bola Tu Problem Kya Hai Meray Yaar…Preshan Kyon Hai… Mein Us Sai Khul Kar Mazaak Karta Tha, Mein Bola Ab Tu Apnay Lund Ki Massage Kar Kay Usai Khoob Saja Aur Intizaar Kar Biwi Ka… Woh Bola….Yaar Imran Woh Tu Sab Theek Hai Magar Tujhay Pata Hai Mein Job Chorr Kar Nahi Ja Sakta Biwi Ko Buffalow Sai Pick Karnay (Virginia Sai Canada Border Ki Takreeban 10 Hours Ki Drive Hai). Woh Bola Yaar Tu Yeh Kaam Kar Sakta Hai Please Yaar Meri Jaan Mana Na Karna. Meray Paas Aur Koi Rasta Nahi. Job Tu Meri Bhi Thi Magar Mein Aasani Sai Friday Off Lay Sakta Tha Aur Raat Ko Nikal Kar Subha Tak Canada Border Per Pohanch Sakta Tha. Mujhay Us Per Bohat Taras Aaya Aur Meinay Kaha Fikar Na Kar Mein Chala Jaoonga.
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Phone Per Rabta Kar Kay Pata Chala Liya Kay Woh Log Kareeb Hi IHOP Mein Baithay Nashta Kar Rahay Hein Mein 5 Minutes Mein Wahan Pohanch Gaya Aur Sab Sai Salam Dua Kay Baad Nashtay Mein Shareek Ho Gaya . Sab Nay Shukar Kiya Kay Border Per Koi Problem Nahi Huee. Meray Dost Ki Biwi Shabana, Pictures Sai Bhi Kahein Ziyada Khoobsoorat Thi… Pictures Mein Tu Woh Shadi Kay Kapron Mein Thi Jis Sai Uski Body Ka Shape Waghaira Show Nahi Ho Raha Tha Magar Is Waqt Usnay Saadi Si Black Color Ki Shlwar Kameez Pehan Rakhi Thi (Usnay Apni Winter Jacket Utar Kar Chair Per Latkai Huee Thi). Or Brown Color K 7 Number K Long Shoes Pahan Rakhay Thay Uski Shalwar Kameez Sai Meinay First Time Uskay Jism Per Nazar Dali… Aur Thori Dair Kay Liyay Mein Uskay Intahee Sexy Jism Kay Curves Mein Kho(Lost) Gaya . Dosto Shabana Bohat Hi Sexy Larki Thi. Mera Andaza Hai Uski Bra Ka Size 36D Waist 28 Aur Chootarr(Ass, Gaand, Butts) 35 Hongay. Meinay Mehsoos Kiya Meray Lund Nai Aik Angrayeee Lay Kar Uthna Chaha… Magar Meinay Usko Dil Mein Aik Maan Ki Gimran Di Aur Apna Dhiyaan Kisi Aur Taraf Lagany Ki Koshish Karnay Laga. Qissa Mukhtasar Kay Shabana Jitni Haseen Thi Us Sai 10 Times Ziyada Sexy Thi.
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Shabana: Imran Bhai, Aap Nay Ab Tak Shadi Kyon Nahi Ki?
Me: Bas Aisay Hi…Meinay Joke Mein Kaha…Ya Shayad Is Liyay Kay Sab Sai Khoobsoorat Larki Tu Nadeem Ura Lay Gaya Ab Mein Kahan Dhoondoon Tum Jesi Khoobsoorat Larki….
Shabana: Apni Indirect Tareef Sunn Kar Thora Sharma Di Aur Boli…Aap Bhi Na Imran Bhai Khoob Baat Kartay Hein.
Me: Muskaranay Laga. Mein Bola Meri Aik Girl Friend Hai Magar Abhi Koi Shadi Ka Irada Nahi Bana Hum Dono Ka….
Shabana: Acha…Girl Friend Hai ? Kesi Hai? Aur Kab Sai Hai.
Me: Achi Hai Khoobsoorat Hai, Sexy Hai Magar Tum Sai Ziyada Nahi (Meinay Muskra Ka Jawab Diya) Pichlay 2 Saal Sai Hum Saath Hein
Shabana: Acha…Meinay Movies Mein Dekha Aur Logon Sai Suna Hai Kay Yahan GF Aur BF Shadi Sai Pehlay Aisay Hi Rehtay Hein Jesay Kay Mian Biwi
Me: Haan Yeh Tu Tum Nai Theek Hi Suna Hai…Mein Aur Meri Gf Bhi Kuch Aisai Hi Rehtay Hein….Aur Almost Woh Sab Kartay Hein Jo Mian Biwi Apas Mein Kartay Hein… Meri Itni Direct Baat Sunn Kar Shabana Kay Face Ka Rang(Color) Sharam Sai Laal Ho Gaya…Usnay Bohat Sharma Kar Dheemi Awaz Mein Poocha…
Shabana: Apnay Bhi Woh Sab Kiya Kya ?
Me: Kya Sab ? Tumhara Mutlab Sex ? (Meinay Jaan Bochicken Souph Kar Sex Ka Word Use Kara)… Haan Kiya… Abhi Bhi…Meinay Shabana Ki Ankhon Mein Dekha, Uski Ankhein Is Waqt Gulabi Si Ho Rahi Thein. Mujhay Is Baat Ka Ehsaas Ho Chuka Tha Kay Woh Is Waqt Bohat Ziyada Sexually Aroused Hai. Shayad Kuch Situation Hi Aisi Thi, Is Waqt Shaam Kay 5 Baj Chukay Thay Meinay Window Sai Bahir Dekha Tu Andhaira Ho Chuka Tha Aur Snow Abhi Bhi Taizi Sai Parr Rahi Thi. Room Mein Andhaira Tha Aur Room Mein Hum Dono Akailay Aur Dono Hi Chudai Ki Aag Mein Jal Rahay Thay. Room Mein Bahir Sai Thori Thori Light Aa Rahi Thi, Jis Sai Mohaul Bohat Romantic Ho Gaya Tha. Mein Sofay Per Betha Tha Aur Woh Bed Per. Mein Batein Karta Hua Utha Aur Us Kay Barabar Hi Bed Per Ja Kar Beth Gaya. Aur Bola…
Me: Shabana, Kya Tumhara Bhi Koi Boy Friend Reh Chuka Hai Ya Abhi Bhi Hai ?
Shabana: Bohat Dheemi Awaz Mein Sharma Kar….Ab Nahi Shadi Sai Pehlay Tha
Me: Acha….Mein Bhi Ab Kafi Garam Ho Chuka Tha…Mera Lund Meri Pant Phaarr Kar Bahir Aanay Ko Tayyar Tha… Kuch Situation Hi Aisi Thi Dosto…Mein Bola…Kya Tum Bhi Apnay Bf Sai Sex Karati Thein ?…. Usnay Shrma Kar Sar(Head) Bilkul Neechay Kar Liya…Mujhay Usko Touch Karnay Ka Bohat Acha Moqa Mil Gaya …. Meinay Uski Thori (Chin) Per Haath Rakha Aur Uska Moon Ooper Uthaya Aur Uskay Honton Kay Bilkul Kareeb Ja Kar Bola…Sharmao Nahi Shabana, Such Bolo….Meray Lips Uskay Lips Sai Sirf 2″Inch Ki Doori Per Thay…Theek Us Time Mujhay Ehsaas Ho Gaya Aur Shayad Usko Bhi…Kay Ab Wapsi Ka Koi Rasta Nahi Aur Ab Chudai Zaroor Hogi…Usnay Sar(He ad) Utha Kar Mujhay Dekha Aur Kuch Kehnay Kay Liyay Moon Khola Hi Tha Kay Meinay Apnay Hont Uskay Honton Per Rakh Diyay Aur Uskay Hont Choosnay Laga….Few Seconds Mein Hi Usnay Bhi Meray Hont Choosna Shuroo Kar Diyay Aur Apni Zaban Meray Moon Mein Dalni Shuroo Kar Di….
Mein Uskay Lips Choosta Hua Uski Garden(Neck) Per Aa Gaya Aur Uski Neck Aur Ears Chatnay Aur Choosnay Laga….Woh Meri Back(Kamar) Per Apnay Haath Phair Rahi Thi.Uskay Moon Sai Mazy Mein Aik Sisky Nikli Ahhhhhhh Woh Boli……Imran Bhai Humein Yeh Nahi Karna Chahiyay….Mein Apkay Dost Ki Biwi Hoon… Aur Apko Apna Bhai Samajhti Hoon….Agar Nadeem Ko Pata Chal Gaya Tu Kya Hoga….Ahhhhh…Mujhay Pata Tha Bas Aik Baar Mera Lund Iski Choot Mein Ghuss Gaya Tu Yeh Guilt Feeling Sab Khatam Ho Jayay Gi…. Mein Bola Shabana,Meri Jaan, Kisi Ko Bhi Kabhi Bhi Nahi Pata Chalay Ga Agar Hum Dono Is Ko Secret Rakhein Tu….Please Fikar Nahi Karo Aur Mujhay Na Roko….Mein Bohat Garam Hoon Is Waqt Aur Mujhay Pata Hai Tum Bhi Is Waqt Sex Kay Liyay Tarapp Rahi Ho….Lets Enjoy All This, Meri Jaan, Without Any Sharam….Please Lets Make Love To Each Other Like We Never Made Lov e Before….Uskay Moon Sai Aik Gehri Sisky Nikli Aur Usnay Aur Bhi Sakhti Sai Mujhay Galay Laga Liya Aur Meray Hont Choosnay Lagi Aur Seedhay Haath Sai Pant Kay Ooper Sai Hi Mera Lund Rub Karnay Lagi….
Uskay Is Tarhan Meray Lund Ka Massage Karnay Sai Meri Himmat Barhi Aur Meinay Jaldi Jaldi Uskay Aur Apnay Kapray Utarna Shuroo Kar Diyay…Shabana Kapray Utarnay Mein Meri Poori Madad Kar Rahi Thi. Few Seconds Kay Andar Hi Hum Dono Bilkul Nangay Ho Chukay That. Bahir Sai Aati Dheemi Light Mein Shabana Apnay Khoobsoorat, Sexy Resham Ki Tarhan Mulayam Nangay Jism Kay Saath Aik Hoor Ki Tarhan Bed Per Leti Thi. Khoobsoorat Round Aur Firm Mummay(Boobs) 34D, Patli Si Nazuk Si Karam 30 Aur Nihayat Hi Khoobsoorat Bahir Ko Nikli(Bubble Butt) Huee Sexy Gaand, Shayad 36. Dosto Mera 7″ Ka Lund Is Waqt Aik Steel Ki Rod Ki Tarhan Hard Ho Raha Tha Aur Meray Lund Sai Pre-Cum Nikal Rahi Thi…. Mein Shabana Per Toot Para . Main Nay Usay Bed Per Seedha Letaya Us Ka Badan Sheeshay Sa Chamak Raha Tha Main Us K Pairoon Kee Taraf Aaya Us Na y Abhee Tak Sardi Ki Wajah Say Long Shoes Pahen Rakhay Thay Main Nay Us K Shoes Pay Kiss Kee Orr Long Shoes Kee Zipp Ahista Ahista Khool Dee Oor Us K Pairoon Ko Shoes Ke Qaid Say Azad Ker Dea Choon K Us Nay Shoes Kal Raat Say Pahan Rakhay Thay Iss Leye Uss K Pairoon Say Sweet See Mahak Aa Rahee Thee Jisay Smell Ker K Meray Lund Main Ik Current Sa Dor Gaya(Dostoon Mardoon Ko Orat K Jism K Paseenay (Swett) Or Us K Foot Scoks Shoes Ki Smell Bohat Pasand Hoti Hay Jisay Smell Ker K Unn Ka Sex Ka Nasha Almost Double Ho Jata Hay Per Aksar Mard Sirf Apnee Ana (Selfrespect) Ki Khatir Is Mazay Say Door Ho Jatay Hain Aap Larkion Ko Chahyay K Aap Mardoon Say Khudd Shoes Smell Kernay Oor Foot Chatnay Ko Kahain ) Us Nay White Color Ke Frill Wali Socks Pehan Rakheen Theen Main Nay Us K Foot Pay Kiss Kee To Us K Foot Paseenay (Swett)Say Geelay Hoo Rahay Thay Phir Main Us K Foot Per Kiss Kerta Hooa Thoora Ooper Gaya Oor Us Kee Soks Apnay Dantoon M ain Pakar K Otar Dee Uffffff Jab Meri Us K Pairoon Pay Nazar Paree, Kia Khoobsoorat Paon Thay Jaisay Koy Paree Doodh Say Gooray Align Fingers Or Shaped Wihte Nail Mugh Say Raha Na Gaya Oor Main Us K Pair Ke Aik Aik Finger Apnay Moo Main Daal K Choosnay Laga Kia Zabardast Halka Sa Solti Taste Tha Us Ka Main Nay Us Ka Poora Paaon Apnee Zuban Say Chaat Oor Choos Dala Jab Meri Uss Pay Nazar Paree To Wo Meri Is Harkat Say Bay Intaha Nasheeli Hoo Rahee Thee Phir Main Uska Jism Chatnay Aur Choosnay Laga. Uskay Niples Light Pink Color Kay Aur Kafi Baray Thay, Meinay Uskay Niple Moon Mein Lay Kar Choosnay Shuroo Kar Diyay….Aur Left Hand Sai Uski Choot Ka Dana Rugarnay Laga. Uski Choot Mein Aik Silaab (Flood) Sa Aya Hua Tha….Uska Jism Chat-Tay Huyay Mein Uski Choot Per Gaya Aur Kisi Bhookay Shair(Lion) Ki Tarhan Uski Clean Shaved Choot Per Moon Rakh Kar Uski Choot Ka Be-Panah Juice Peenay Laga Aur Uski Choot Kay Danay Ko Lick Aur Suck Karnay Laga…….
Shabana Meray Is Tarhan Choot Chatnay Sai Mazay Sai Diwani Si Ho Gayee Aur Uchal Uchal Kar Apni Choot Peray Moon Per Marni Shuroo Kar Di… Uskay Moon Sai Kafi Taiz Awaz Mein Moaning Ki Awazein Nikal Rahein Thein….Aur Woh Keh Rahi Thi….. Ahhh Bohat Mazzzza Aa Raha Hai Imran…Ahhh, Mein Bola Mujhay Wohi Keh Kar Bulao Jo Tum Kehti Ho…..Woh Boli…. Ahhh Imran Bhai Mujhay Bohat Maza Aa Raha Hai ….Ahhhh Mein Mari….. Oouiiii…Uffff… Haan Aisai Hi Chato Meri Choot Ko…. Haan Meray Piyaray Bhai Jaan, Ahhhh, Apni Choti Si Behna Ki Khoob Choot Chato…Ahhh. Uski Garmi Dekh Kar Mein Utha Aur Apna Lund Haath Mein Lay Kar Uskay Moon Per Lay Aya Aur Uskay Honto Per Ragarna Shuroo Kar Diya….Meri Pre-Cum Uskay Lips Per Chamaknay Lagi…. Usnay Moon Khola Aur Mera Lund Uskay Moon Mein Ghayab Ho Gaya . Dosto Shabana Is Kaam Mein Bohat Expert Nikli…. Woh Jarr(Root) Tak Mera Lund Moon Mein Lay Rahi Thi…. Mera Lund Root Tak Halaq Mein Lay Kar Woh Apni Zaban Sai Meray Tattay (Balls) Chat Rahi Thi. Mein Bola… Meri Jaan Tum Tu Bohat Expert Ho Lauda ( Lund ) Choosny Ki….Uskay Moon Sai Haan Mein Sirf Ummm M Hi Nikala… Phir Mein Nai Uska Moon Chodna Shuroo Kar Diya….. Kafi Dair Uska Moon Chodnay Kay Baad Jab Meinay Apna Lund Bahir Nikala Tu Woh Be-Tabi Sai Boli … Ahhh Meri Jaan Imran Bhai Ab Yeh Jaldi Sai Meri Choot Mein Dal Do Please…. Mein Ab Aur Nahi Intizaar Kar Sakti …. Khuda Kay Liyay Nadar Dalo……… Aur Usnay Haath Sai Mera Lund Pakar Kar Apni Choot Ki Taraf Kheenchna Shuroo Kar Diya…..Mein Uth Kar Uski Tangon Kay Beech Betha, Usnay Apni Tangein Khol Dein Aur Ooper Itha Lein Aur Mera Lund Apnay Seedhay Haath Sai Pakar Kar Apni Choot Kay Hole Per Rakha Aur Ulta Haath Meri Gaand Per Rakh Kar Zore Sai Ap nay Haath Sai Meri Gaand Ko Neechay Ki Taraf Dhakka Diya Aur Khud Neechay Apni Choot Ooper Ki Taraf Uchaimran…. Mein Bhi Apnay Pooray Wazan Sai Us Per Girr Gaya Aur Nateejatan Mera Poora 7″ Ka Steel Ki Rod Ki Tarhan Sakht Lund Aik Second Sai Bhi Kam Time Mein Uski Choot Ki Gehrayon Mein Ghayab Ho Gaya……… Uskay Moon Sai Aik Cheekh Nikli…. Ouiiii Meri Maan Mein Mari… Ahhhh …Mein Ruk Gaya Aur Poocha, Shabana Meri Jaan, Tum Theek Ho? Kya Bohat Pain Ho Raha Hai ? Woh Boli Nahiiiii…. Bohat Hi Maza Aa Raha Hai Don’t Stop Imran Bhai Please Stop Na Karo…. Taiz Taiz Chodo Mujhay…. Ahhhh . Meinay Yeh Sunn Kar Usko Kisi Wehshi Janwar Ki Tarhan Chodna Shuroo Kar Diya..(Apni Mardangi Dikhanay Laga).. Chand(Few) Mintes Ki Lagatar Chudai Kay Baad Hi Shabana Chhoot Gayee Magar Meinay Usko Chodna Band Na Kiya Aur Musalsal Chodta Raha….. Shabana Aik Ajeeb Larki Thi Dosto…. Meinay Apni Life Mein Koi 15 Sai 20 Different Larkiyon Ko Choda Hoga Magar Aisi Larki Aaj Tak Nahi Mili…. Dosto Mein Usko Baghair Break Kay Chod Raha Tha Aur Woh Her 2 Ya 3 Minutes Kay Baad Chhoot Rahi Thi….Aur Chootnay Kay Foran Baad Hi Dubara Tayyar Ho Jati Thi… Pichlay 20 Minutes Mein Woh 4 Ya 5 Baar Choot Chuki Thi Magar Thaki Nahi Thi .. Is Doran Mein Positions Bhi Change Kar Chuka Tha. Kabhi Usko Ghori Banata Aur Peechay Sai Uski Choot Mein Lund Daal Deta Aur Apnay Dono Thumbs Uski Gaand Kay Tight Hole Mein Aur Kabhi Usko Apnay Ooper Bitha Kar Chodta. Kabhi Side Sai…. Gharaz Kay Almost Her Postition Sai Chod Raha Tha Mein Usko. Phir Koi 35 Minutes Kay Baad Jab Mein Chootnay Laga Tu Mein Bola…
Me: Shabana, Mera Pani Nikalnay Wala Hai, Bolo Kahan Chooton
Shabana: Meri Choot Mein Hi Choot Jayein Meri Jaan…Mujhay Apnay Pani Sai Fill Kar Dein…
Me: Agar Tum Pregnant Ho Gayein Tu ?
Shabana: Tu Kya… Abhi Kal Tu Nadeem Sai Chudwana Hai… Kisi Ko Kya Pata Chalay Ga Kay Apka Hai Ya Nadeem Ka…
Me: Pakka ?
Shabana: Yes Imran Bhai…. Please Meray Andar Hi Chore Dein Apna Pani…. Mujhay Bohat Acha Lagta Hai Apni Choot Mein Chutwa Kay….
Aur Uski Itni Sexy Baat Sunn Kar Meray Lund Sai Cum Ka Aik Flood Nikalnay Laga…. Dosto Meinay Chootna Shuroo Kiya Tu Woh Boli… I Can Feel It Imran Bhai……..Ahhhh Mein Bhi Chootiiiiiii Ahhhhhhhhhhhh Hhhhhhh H Uooiiiiiiiiiii ….
Aur Meray Saath Woh Bhi Chootnay Lagi. Meray Lund Sai Cum Ki Koi 10 Pichkariyan (Squirts) Nikli Hongein…. Chootnay Kay Baad Mein Us Kay Ooper Hi Late Gaya , Mera Lund Abhi Bhi Uski Choot Kay Andar Hi Tha Aur Mujhay Abhi Bhi Hulkay Hulkay Jhatkay Lag Rahay Thay
Mein Thori Dair Shabana Per Hi Laita Raha Aur Mera Lund Shrink Hokar Uski Geeli Chikni(Slipery) Choot Sai Bahir Nikal Aya. Meinay Ghari(Watch) Mein Time Dekha Tu Almost 6:30 Pm Ho Rahay Thay…. Mein Shabana Per Sai Utra Aur Bathroom Mein Ja Kay Apna Hulya Theek Kar Kay Kapray Pehnay Aur Shabana Jis Nai Ab Apnay Nangay Jism Per Blanket Lai Liya Tha Sai Bola…. Mein Kuch Khanay Ka Bandobast Kar Kay Ata Hoon.
Hotel Ki Lobby Mein Aya Tu Hotel Mein Kuch Khaas Khanay Ko Nazar Nahi Aya. Meinay Main Door Sai Bahir Dekha Tu Her Taraf Snow Nazar Ayee… Snow Ab Kuch Kam Ho Gayee Thi. Meinay Lobby Ki Reception Sai Poocha Agar Yahan Aas Paas Koi Pakistani Food Place Hai… Dosto Yeh Hotel Buffalo Downtown Kay Area Mein Tha. Mujhay Pata Chala Kay Bilkul Hotel Kay Next Door Aik Midle Eastern Fast Food Place Hai. Mein Ho tel Sai Nikal Kar Bahir Aya Tu Dekha Kay Bilkul Saath Hi Woh Food Place Thi Aur Ittifak Sai Open Bhi Thi Nahi Tu Aksar Log Itni Snow Mein Shops Band Kar Detay Hein. Mein Andar Gaya Aur 2 Full Size (Foot Long) Gyros Aur 2 Falafal Order Kar Kay Paas Rakhay Fridge Sai Coke, Pani Aur CHICKEN SOUP Nikal Kar Register Per Aa Gaya. 10 Minutes Mein Mera Order Tayyar Ho Gaya Aur Mein Khanay Ka Bag Pakar Apnay Hotel Mein Chala Aya. Room Mein Aa Kar Meinay Dekha Kay Shabana Be-Khabar Pari So (Sleep) Rahi Hai.
Meinay Khana Table Per Rakha Aur Drinks Fridge Mein Rakh Diyay. Mein Ahista Sai Bed Kay Nazdeek Aya Aur Dheeray Sai Shabana Per Sai Blanket Utar Diya… Bed Ki Side Table Ka Lamp On Tha Aur Sab Kuch Ab Saaf Dikhayee Dai Raha Tha. Dosto, Shabana Abhi Tak Bilkul Nangi Thi Aur Pait (Stomach) Per Laiti Thi. Uski Tangein Bhi Seedhi Thein. Yaro, Kya Bataoon Kya Khoobsoorat Aur Sexy Manzar Tha. Shabana Ki Intihaee Sexy Bahir Ko Nikli Huee (Bubble Butt) Gaand Aik Chataan Ki Tarhan Meray Saamnay Thi… Mera Dil Meray Underwear Mein Zore Zore Sai Dharaknay Laga…. .
Mein Kuch Dair Is Dilfaraib Manzar Sai Lutf-Andoze Hota Raha Phir Meinay Dheeray Sai Uskay Balon Mein Haath Phaira. Usnai Kuch Dair Mein Apni Ankhein Khol Dein Aur Uthna Chaha. Meinay Usko Wahein Roka Aur Bola….Nahi Meri Jaan Aisay Hi Leti Raho… Usnay Aik Khoobsoorat Smile Say Mujhay Dekha Aur Wapis Waisay Hi Lait Gayee Jesai Pehli Thi….Mein Uskay Barabar Lait Gaya Aur Uski Neck Aur Kamar Per Piyar Karna Shuroo Kar Diya… Kabhi Kabhi Mein Apni Zaban Sai Uski Kamar Aur Neck Bhi Chaat Leta Tha, Jis Sai Usko Current Sa Lagta Tha… Phir Mein Dheeray Dheeray Uski Kamar Per Kiss Kartay Huay Neechay Janai Laga Aur Uski Gaand Per Aa Kar Ruk Gaya.
Meinay Uski Gaand Ki Golayon (Roundness) Per Haath Paira… Dosto Uski Gaand Bohat Firm Thi…. Mera Lund Ab Pooray Shabab Per Tha Aur Lohay Ki Tarhan Sakht Ho Chuka Tha. Mein Foran Apnay Kapray Utaar Kar Shabana Ki Tarhan Bilkul Nanga Ho Gaya Aur Jhuk Kar Uski Gaand Kay Cheeks Per Piyar Karnay Laga Aur Halkay Halkay (Slowly) Uski Gaand Kay Cheeks Apnay Danton(Teeth) Sai Katnay Laga….. Phir Meinay Dono Hathon Sai Uski Firm Gaand Kay Cheeks Kholay Tu Uski Gaand Ka Light Pink Color Ka Surakh (Asshole) Bilkul Meray Saamnay Aa Gaya. Mein Neechay Jhuka Aur Meinay Apni Zaban Uskay Khoobsoorat Tight Suraakh Per Rakh Di. Shabana Ko Aik Dum Jesay Current Sa Laga… Meinay Uska Asshole Apni Zaban Sai Chatna Shuroo Kar Diya…. Mein Bohat Garam Ho Chuka Tha Aur Shabana Bhi Ab Neechay Sai Apni Gaand L icking Ka Response Dai Rahi Thi. Thori Dair Isi Tarhan Uski Sexy Aur Khoobsoorat Gaand Ka Tight Assole Chatnay Kay Baad Mein Jhuka Aur Apni Zaban Uski Gand Kay Khulay Surakh Mein Andar Tak Daal Di Aur Andar Dal Kar Idhar Udhar Hilanay Laga… Meray Is Tarhan Gaand Chatnay Sai Shabana Mazy Aur Josh Sai Diwani Ho Gayee Aur Apna Sar (Head) Pillow Per Zore Zore Sai Marnai Lagi….
Mujhay Bohat Hi Acha Laga Aur Mein Aur Bhi Josh Sai Uska Moon Choosnay Laga, Uski Zaban Choosnay Laga….. Phir Meinay Uskay Kaan (Ear) Kay Paas Apna Moon Kar Kay Sargoshi Ki….
Me: Shabana Meri Jaan, Kabhi Peechay Sai Chudwaya Hai ?
Shabana Jaan Bochicken Souph Kar Anjaan Ban Kar: Kya Mutlab ?
Me: Mainay Shabana Ki Badmashi Samajhtay Huay Smile Kay Saath Uski Ankhon Mein Dekha Aur Bola, Abhi Jahan Meri Zaban Thi…. Tumharay Asshole Kay Andar… Kya Wahan Lund Liya Hai Pehlay
Shabana: Meray Is Tarhan Saaf Baat Karnay Sai Uska Rang Thora Lal Ho Gaya Aur Usnai Neechay Dekhna Shuroo Kar Diya…
Me: Shabana, Meri Jaan… Ab Mujh Sai Kesa Sharmana Yaar…. Abhi Thori Dair Pehlay Hum Nai Bharpoor Chudai Ki Hai…. Sharmao Nahi Aur Khul Kar Such Such Batao….
Shabana: Kuch Dair Baad Boli…. Jab Mein 17 Ki Thi Tu Sab Sai Pehlay Meri Life Mein Aik Mujh Sai Age Mein Bohat Bara Marad Aya Tha… Meray Khaloo. Woh Us Waqt 47 Saal Kay Hongay…. Pata Nahi Mein Kesay Unkay Chungal Mein Phans Gayee Magar Sab Sai Pehlay Unhon Nai Hi Meray Saath Sex Kiya Tha. Kyon Kay Mein Bohat Choti Thi Aur Unko Darr Tha Kahein Mein Pregnant Na Ho Jaoon Tu Woh Sirf Meray Peechay Sai Kiya Kartay Thay…..
Me: Yani Kay Woh Tumhari Gaand Mein Apna Lund Daltay Thay ?
Shabana: Thora Sharma Kar Jhijak Kar….Ji…. Shuroo Mein Tu Bohat Hi Pain Hoti Thi…. Magar Baad Mein Kuch Aadat Si Ho Gayee….. Nadeem (Shabana Ka Husband Aur Mera Dost) Ko Bhi Bohat Shauk Hai Peechay Sai Chodnay Ka. Shadi Kay Baad 3 Moths Tak Woh Pakistan Rahay…. In 3 Months Mein Unhon Nai Bhi Bohat Baar Meri Gaand Mari.
Me: Tu Phir Kya Mujhay Tum Ijazat Nahi Dogi Kay Mein Tumhari Gaand Maroon…. Shabana, Mujhay Gaand Chodna Janoon Ki Hadd Tak Pasand Hai… Please Mana Na Karna….
Shabana: Thora Muskra Kar Boli…. Acha Pehlay Promise Karein Ziyada Pain Tu Nahi Deingay Na ? Aur Andar Dalnay Sai Pehlay Kuch Chikna (Lubricant) Use Kareingai Takay Aasani Sai Andar Chala Jayay ?
Me: Shabana, Meri Jaan Tum Is Baat Ki Fikar Na Karo.. Mein Poori Poori Koshish Karoonga Kay Tum Ko Zarra Barabar Bhi Pain Na Ho…Aur Mujhay Bohat Achi Tarhan Pata Hai Kay Tumhari Gaand Marnay Kay Liyay Mujhay Behtareen Lubricant Kahan Sai Milay Ga…….. Mera Jawab Sunn Kar Woh Mutmaeen Ho Gayee…. Acha Tum Aisai Hi Laiti Raho….Aur Jesa Mein Kahoon Waisa Hi Karna.
Shabana: Ji Acha… Lekin Plz… Ehtiyaat Sai Karna…
Me: Tum Bilkul Fikar Na Karo Meri Jaan Aur Enjoy Karo.
Main Nay Jaldi Say Uskay Saman Say Cold Cream Nikali Oor Us Keg An Or Apnay Lund Per Khoob Achi Tarhan Laga Di Phir Haath Sai Apna Chikna Lund Pakara, Doosray Haath Sai Meinay Uski Gaand Thori Si Ooper Uthaee Aur Usko Bola Kay Woh Apnay Dono Hathon Sai Apni Gaand Kay Cheeks Kholay…. Shabana Nai Aisa Hi Kiya Jis Sai Uski Gaand Ka Lubricated Suraakh Bilkul Meray Steel Sai Bhi Ziyada Sakht Lund Kay Bilkul Samnay Aa Gaya. Meinay Uski Gaand Kay Hole Per Apnay Lund Ki Moti Topi Rakhi Aur Thora Pressure Dala… Lund Aur Gaand Kay Suraakh Ki Lubrication Ki Waja Sai Mera Lund Baghair Kisi Problem Kay Adhay Sai Ziyada (More Then Half) Uski Gaand Mein Chala Gaya . Aadha(Half) Lund Andar Janay Per Meinay Shabana Sai Poocha…. Jaan Pain Huee Kya ? Shabana Boli…. Zara Si Bhi Nahi… Imran Bhai Aap Bohat Achay Ho.I Love You Meray Sweet Bhayya.. Kaash Aap Meray Husband Hotay, Hamesha Meray Saath Life Guzartay….. Meinay Green Light Dekh Kar Lund Per Aur Pressure Dala Aur Is Baar Mera Lund Jarr(Root) Tak Shabana Kay Tight Asshole Kay Andar Ghayab Ho Gaya…..
Mein Josh Mein Shabana Sai Bola, Jani, Sara Lund Tumhari Gaand Mein Ghuss Gaya …. Meinay Neechay Sai Seedha Haath Daal Kar Uski Choot Kay Dany (Clit) Ko Masalna Shuroo Kar Diya… Jis Sai Woh 10 Seconds Mein Hi Choot Gayee… Mein Ab Poori Speed Sai Aur Poori Taqat Sai Uski Gaand Chod Raha Tha Aur At The Same Time, Mein Uski Choot Bhi Masal Raha Tha….. Meinay Usko Seedha Kar Kay Uski Tangein Utha Kar Uskay Shoulders Per Rakhein Aur Dubara Apna Lund Uski Gaand Mein Ghusa Diya… Ab Uski Gaand Ka Suraakh Kafi Khul Chuka Tha.. Jab Mein Apna Lund Uski Gaand Sai Nikalta Tu Uska Asshole Few Seconds Tak Waisa Hi Khula Rehta….
Shabana Ab Apni Kamar Per Thi Aur Mein Samnay Say Taizi Sai Uski Gaand Ko Poori Taqat Sai Chod Raha Tha Aur Ab Seedhay Haath Sai Uski Choot Masal Raha Tha Aur Ultay Haath Sai Uskay Niples Nauch (Masal) Raha Tha …. Uski Choot Bohat Hi Slipery Ho Rahi Thi ….Is Tarhan Chodtay Mujhay 20 Minutes Ho Gayay, Pehlay Ki Tarhan Woh Every 4 – 5 Minutes Kay Baad Choot Rahi Thi….Her Baar Chootnay Per Uskay Moon Sai Meri Tareef Kay Kalmaat Nikaltay…. Oooooooo… Uuuiiiiii.. Mein Mari Meri Maan… Ahhhh… Ahh Meray Shair(Lion) Imran Bhai…..Imran Bhai Aap Meray Shair(Lion) Ho…. Khoob Achi Tarhan Chodo Mujhay Bhayya Jani…. Oh Meray Piyaray Imran Bhai…. Mein Ap Per Qurbaan Meri Jaan. Chodo Apni Piyari Si Choti Si Nazuk Si Bahen Ko…..Han Meri Jaan Imran Bhai….Apni Is Garam Sexy Behan Ka Her Suraakh Apni Cum Sai Fill Kar Do… Ahhhhh ..Chodo … Aur Taiz Bhayya ….Aur Zore Sai…….. Mujhay Chod Chod Kar Be-Hosh Kar Do…. Ahhhhhhhhh Mein Mari…….. Ooouiiiiiiii…Dosto Mein Mazay Sai Pagal Ho Raha Tha…. Kuch Dair Aisi Hi Maza Lenay Kay Baad Mein Utha Aur Room Ki Lights Off Kar Dein. Phir Room Ki Window Sai Parda (Drapes) Hata Diya Jis Sai Bahir Ki Dheemi Light Room Mein Anay Lagi. Mein Shabana Ko Wondow Kay Paas Lay Aaya Aur Uskay Haath Window Per Rakhwa Kar Uskay Peechay Position Bana Kar Dubara Sai Apna Lund Uski Gaand Mein Utaar Diya. Ab Hum Kharay Ho Kar Chod Rahay Thay…. Dosto Bohat Hi Haseen Scene Tha…. Room Mein Andhaira(Dark) Honay Ki Waja Sai Bahir Sai Andar Kuch Nazar Nahi Aa Sakta Tha Magar Hum Dono Bahir Dekh Saktay Thay….. Mera Lund Uski Gaand Mein Tha, Mein Dheeray Dheeray Agay Peechay Ho Kar Uski Khoobsoorat Tight (Bubble Butt) Gaand Chod Raha Tha Aur Hum Dono Bahir Khoobsoorat White Snow Kay Haseen Manzar Ko Bhi Enjoy Kar Rahay Thay…. Bohat Hi Romantic Aur Sexy Situation Thi Dosto…. Shabana Apni Khoobsoorat Firm Gaand (Bubble Butt) Meray Lund Per Maar Rahi Thi (Peechay Dhakkay Maar Rahi Thi) Mein Still Khara Ho Gaya.. Seedhay Haath Sai Abhi Bhi Mein Uski Choot Ragarr (Rub) Raha Tha… Is Tarhan Jab Kharay Kharay Mein Thak Gaya Tu Kareeb Rakhay Sofay Per Beth Gaya Aur Shabana Ko Apnay Lund Per Bitha Liya Aur Usnay Ooper Neechay Ho Kar Mera Lund Chodna Shuroo Kar Diya…
Dosto Shabana Ko Second Time Chudtay Huay Mujhay 40 Minutes Ho Chukay Thay Aur Ab Mein Chhotnay Kay Bohat Kareeb Tha. Meinay Shabana Ko Sofay Per Ghori (Doggie Style) Banaya, Uski Gaand Mein Lund Dala Woh Boli…. Oh Meri Jaan Imran Bhai….Aisa Tu Aaj Tak Mujhay Kisi Nai Nahi Choda….Ahhhhhhhh Mein Mari…… Itna Maza Tu Kisi Marad Nai Aaj Tak Nahi Diya ….. Oh My Sweet Fucker I Love You….Ahhhhh Mein Mari Meri Jaan…..Mein Chhooot Rehi Hoon Meri Jaan.Ooouuuiiiiiiiiiiiiiiiii……Ahhhh… Uski Yeh Batein Sun Kar Mein Bhi Akhri Limit Per Pohanch Gaya…. Meinay Uski Gaand Sai Lund Nikala Aur Foran Usko Floor Per Bithaya, Uskay Baal(Hair) Peechay Ki Taraf Kheinchay Jis Sai Uska Moon Khul Gaya.Shabana Nai Apni Zaban Bahir Nikal Li… Meinay Apna Lund Uski Zaban Per Rakha Aur Chhootna Shuroo Kar Diya…. Kafi Dair Tak Meri Cum Ki Pichkariyan Meray Lund Sai Nikal Kar Uskay Moon Kay Andar Jati Rahein…. Jis Ko Shabana Jaldi Jaldi Apnai Pait Mein Utarnay Lagi (Swallow Karnay Lagi)…
Shabana: Imran Bhai… Aap Aik Din Mein Hi Meri Jaan Ban Gayay Ho… Mujhay Nahi Pata Ab Mein Baki Ki Life Apkay Baghair Kesai Guzaroon Gi… … Meinay Ap Jesa Marad Na Pehlay Dekha Aur Na Suna… Aap Bohat Hi Achay Ho…Bohat Sensitive, Aur Aap Real Mein Marad Ho…
Me: Mein Bola Kyon, Kya Nadeem Aisa Nahi ?
Shabana: Woh Theek Hein Magar Ap Jesai Nahi…
Me: Kyon Farak Kya Hai ?
Shabana: Nadeem Bhee Bohat Achay Hein Magar Sex Mein 10 Minutes Sai Ziyada Hold Nahi Kar Saktay… Jab Woh Mujhay Piyar Kartay Hein Tu Mein Ziyada Sai Ziyada 2 Baar Chhoot-Ti Hoon….. Magar Apkay Saath Tu Mujhay Yaad Bhi Nahi Kay Mein Kitni Baar Chhooti Hoon… First 5 – 6 Times Kay Baad Meinay Count Karna Chor Diya Tha…. Meri Life Mein Ab Tak 3 Marad Aa Chukay Hein Magar Aap Jesa Koi Nahi Tha … Woh Aurat Bohat Hi Khush Kismat Hogi Jisko Aap Saari Umar Kay Liyay Milein Gai…. Apkay Piyar Karnay Ka Tareeka Bohat Anokha(Unique) Hai… Apsai Piyar Kar Kay Mujhay Pata Chala Kay Real Sex Mein Kitna Maza Aata Hai… Mein Apni Life Mein Kabhi Bhi Itni Ziyada Sexually Satisfied Nahi Huee Jitni Aaj Huee Hoon.
Hum Dono Nangay Hi Floor Per Bethay Thay, Woh Meray Galay Lagi Huee Thi (Hugging) Aur Mein Uskay Balon (Hair) Mein Apni Fingers Phair Raha Tha…
Me: Apni Itni Ziyada Tareef Sunn Kar Mujhay Bohat Khushi Huee Aur Meray Lund Nai Aik Tunka Mara (Shayad Khusi Mein….LLOL). Shabana Nai Chaonk Kar Meray Lund Ki Taraf Hairat Sai Dekha Aur Boli Oh Meray Khuda!!!… Yeh Phir Sai Ready Ho Raha Hai Kiya….. Mein Hanstay Huay Bola …. Nahi Nahi… Aisi Baat Nahi Hai….. Yeh Shayad Sirf Tumhari Tareef Ki Batein Sunn Kar Sirf Tumhara Shukriya Adaa Kar Raha Hai…. Meri Yeh Baat Sunn Kar Shabana Khilkhila Kar Zore Sai Hans Di Aur Kafi Dair Tak Hansti Rahi…Aur Neechay Jhuk Kar Meray Lund Ko Aik Pappi Di….Aur Boli… Mujhay Tu Is Sai Apsai Ziyada Piyaar Ho Gaya Hai…… Aur Phir Zore Sai Hansnay Lagi…. Mein Bhi Uski Hansi Mein Shamil Ho Gaya …
Shabana: Imran Bhai…Agar Nadeem Ko Humari Is Baat Ka Pata Chal Gaya Tu Kya Hoga ?
Me: Kesay Pata Chalay Ga…. Ya Tu Tum Batao Gi Ya Mein…. Mein Tu Kabhi Bhi Life Mein Usko Yeh Nahi Bata Sakta Kyon Kay Woh Mera Dost Hai… Kya Tum Batao Gi Usko ?
Shabana: Kabhi Bhi Nahi …
Me: Waisai Aik Baat Boloon, Kismat Ajeeb Tareekon Sai Apnay Rang Dikhati Hai… Aik Secret Baat Bataoon, Kabhi Moon Sai Nikalo Gi Tu Nahi….Promise?
Shabana… Haan Na, Pakka Promise… Bolein Konsa Secret ?
Me: Meri Gf Afghani Hai. Achi Khasi Urdu Bolti Aur Samajhti Hai… Bohat Hi Haseen Aur Sexy Hai…. Tum Sai Ziyada Nahi Magar (Meinay Muskara Kay Usay Dekha) Woh Bhi Muskaranay Lagi…
Shabana: Acha Phir?
Me: Jesa Kay Tum Ko Pata Hai Nadeem Meray Hi Appt. Mein Rehta Hai… Uska Alag Room Hai…Few Months Pehlay Mujhay Shak(Suspicion) Hua Kay Nadeem Aur Meri Gf Ka Kuch Chakkar Chal Raha Hai… Magar Mujhay Yakeen Nahi Hua…. Mein Na Hi Apni Gf Sai Yeh Baat Pooch Sakta Tha Na Nadeem Sai. Mein Morning Mein Job Per Chala Jata Hoon Aur Nadeem Evening Ki Shift Karta Hai. Mein Shaam Ko 6pm Job Sai Ghar Aata Hoon Aur Nadeem Raat Ko 12:30. Aksar Meri Gf Raat Ko Meray Saath Hi Soti Hai… Mein Subha Uth Kar Job Per Chala Jata Hoon Aur Woh Dair Tak So(Sleep) Kar Uthti Hai Aur Phir Apnay Ghar Jati Hai Agar Usko Apnay Ghar Jana Ho Tu. Mujhay Shak Tha Kay Meray Job Per Janay Kay Baad Meri Gf Aur Nadeem Chudai Kartay Hein… Kafi Din Sochnay Kay Baad Meinay Is Issue Ka Yeh Solution Nikala Kay Meinay 3 Small Wireless Cameras Jo Directly Computer Per Record Kartay Thay, B uy Karay Aur 1 Apnay Room Mein, Aik Nadeem Kay Room Mein Aur Aik Family Room Mein Chupa Kar (Hidden) Laga Diyay.
Shabana: Bohat Hi Ziyada Dilchaspi(Interest) Sai Yeh Sab Sunn Rahi Thi…. Phir Kya Hua ?
Me: Yeh Kaam Karnay Kay 2 Din Baad Hi Jab Mein Ghar Mein Alone Tha Tu Meinay Computer Per Wireless Cameras Sai Record Hua Video Dekhna Shuroo Kiya… First 1 Hour Kay Baad Hi Saari Kahani Khul Kar Meray Saamnay Aa Gayee… Nadeem Aur Meri Gf Family Room Mein Khoob Mazay Sai Chudai Kar Rahay Thay… Mujhay Yeh Sab Dekh Kar Bohat Ghussa Aaya Aur Mein Nadeem Ko Bohat Bura Bhala Kehnay Laga….. Pichlay 2 Din Ki Vidoes Dekh Kar Andaza Hua Kay Meray Jatay Hi Woh Log Chudai Kartay Hein, Phir Nashta Kartay Hein Aur Phir Chudai…. Yeh Sab Dekh Kar Mera Dil Dukha Magar Meinay Kisi Ko Kuch Nahi Kaha. Few Days Kay Baad… Mera Ghussa Thanda Ho Gaya… Aur Meinay Nadeem Ko Dil Sai Maaf Kar Diya…
Shabana: Yeh Kahani Sunn Kar Shabana Ka Moon Khula Reh Gaya …. Aap Nay Kesay Nadeem Aur Apni Gf Ko Maaf Kar Diya….Kya Gf Abhi Bhi Apkay Saath Hi Soti Hai?
Me: Haan Gf Ab Bhi Meray Saath Soti Hai… Kuch Nahi Change Hua… Unko Aaj Tak Pata Nahi Chala Kay Mein Unki Secret Chudai Kay Baray Mein Janta Hoon. Nadeem Ko Maaf Kar Diya Kyon Kay Woh Mera Bachpan Ka Dost Hai Aur Phir Aisi Bhi Koi Qiyamat Nahi Aa Gayee… Meinay Socha Agar Meray Dost Ka Chudai Ka Problem Meri Gf Sai Solve Hota Hai Tu Is Mein Bura Hi Kya Hai…. Mein Bhi Tu Apni Gf Ko Itna Chod-Ta Hoon… Agar Mera Best Friend Bhi Chod Lay Tu Kya Bura Hai… Mein Khush, Meri Gf Khush, Aur Nadeem Bohat Ziyada Khush…. LOL
Me: Tum Kismat Ka Kamal Dekho…. Nadeem Nai Jesay Meri Aurat Per Buri Nazar Dimran Aur Usko Choda, Kismat Nai K esai Nadeem Ki Aurat Meray Samnay Hazir Kar Di…. Meri Yeh Baat Sunn Kar Shabana Soch Mein Parr Gayee Aur Boli.
Shabana: Imran Bhai, Yeh Tu Waqayee Kamal Ki Baat Huee…. Nadeem Nai Apki Gf Sai Chakkar Chalaya Aur Kismat Nai Mujhay Aap Sai Takra Diya… Kamal Hi Ho Gaya….
Yeh Batein Kartay Huay Hum Dono Uthay Aur Shower Mein Ghuss Gayay Aur Kafi Dair Tak Khoob Garam Pani Sai Nahatay Rahay, Aik Doosray Ko Khoob Achi Tarhan Soap Laga Kar Dhoya, Saaf Kiya…. Meinay Shabana Ki Choot Aur Gaand Mein Acchi Tarhan Fingers Maar Maar Kar Usko Andar Sai Bhi Dhoya…Naha Kar Hum Dono Nai Towels Baandh Liyay Aur Room Mein Aa Gaye….
Raat Kay 8:30 Ho Rahay Thay. Hum Dono Ko Bohat Bhook Lagi Thi. Shabana Khana Utha Kar Bed Per Hi Lay Ayee Aur Hum Dono Nai Khoob Pait Bhar Kar Gyros Aur Falafal Khaya … Meinay 2 Glass Milk Piya Aur Shabana Nai CHICKEN SOUP. Khany Kay Baad Shabana Nai Bed Ki Safaee Kar Di Aur Hum Towels Utaar Kar Blanket Mein Lait Kar Tv Daikhnay Lagay…. Shabana Bilkul Aisai Act Kar Rahi Thi Jesay Woh Meri Biwi Ho….Meri Kafi Khidmat Kar Rahi Thi. Tv Dekhtay Huay Pata Nahi Kab Hum Dono Ki Aankh Lag Gayee.
Shabana Shayad Pishaab Kay Liyay Bathroom Gayee Thi Jis Ki Waja Sai Meri Aankh Khul Gayee. Meinay Clock Mein Dekha Tu 1:40am Time Hua Tha. Meinay Dubara Sonay Ki Koshish Kari Magar Meri Neend Ghayab Ho Chuki Thi Aur Mein 4 – 5 Hour Sonay Sai Kafi Fresh Feel Kar Raha Tha. Meinay Shabana Kay Saath Guzray Huay Is Din Aur Raat Kay Baray Mein Sochna Shuroo Kar Diya….. Shabana Ki Chudai Aik Film Ki Tarhan Meray Dimaagh Mein Chalnay Lagi…. Yehi Sab Soch Kar, Aur Is Waqt Ki Situation Ki Waja Sai Mera Lund Dheeray Dheeray Uthna Shuroo Ho Gaya Tha….Mein Isi Soch Mein Gum Tha Kay Shabana Bathroom Sai Nikal Kar Bed Ki Taraf Aati Nazar Ayee… Usnay Bathroom Ki Light Off Nahi Kari Thi. Mujhay Utha Dekh Kar Aik Bohat Hi Khoobsoorat Muskarahat Sai Usnay Mujhay Dekha Aur Boli… Kya Meinay Apko Utha Diya…. I Am Sorry….Meinay Muskra Ka Kahan , It’s Ok Jaan, Aur Uska Haath Pakar Kar Khaincha Aur Usko Apnay Ooper Gira Liya… Woh Bed Mein Nangi Hi Leti Thi Aur Isi Tarhan Uth Kar Nangi Hi Pishaab Karnay Bathroom Chimran Gayee Thi. Meinay Usko Apnay Ooper Lita Kar Uskay Hont Choosnay Shuroo Kar Diyay…. Woh Boli:
Shabana: Hialla Apki Piyaas Abhi Bhi Nahi Bujhi….Usnay Meray Lund Ka Ubhaar Apni Tangon Kay Beech Mein Mehsoos Kar Kay Aik Masti Bhari Adaa Sai Kaha…
Me: Jab Itni Haseen Aur Sexy Nangi Larki Meray Saath Akaili Is Room Mein Hai Tu Meri Piyas Kesay Khtam Ho Meri Jaan…
Shabana: Meri Jaan Aap Bohat Garam Marad Ho… I Love You Meray Raja… Yeh Keh Kar Usnai Uth Kar Apnay Aur Meray Beech Sai Blanket Nikal Diya Aur Mera Nanga Jism Uskay Khoobsoorat Garam Nangay Jism Sai Mil Gaya …
Me: Shabana Jaan, Apni Choot Meray Moon Per Rakh Kar Betho… Shabana Nai Aisa Hi Kiya, Woh Aik Ghutna Right Aor Doosra Left Kar Kay Apni Choot Meray Honton Sai Laga Kar Beth Gayee….Meinay Apni Zaban Bihar Nikal Ker Uski Choot Chatnay Laga…
Meinay Usko Uthaya Aur Usko Thora Jhuka Liya Phir Uskay Peechay Sai Aa Kar Apna Lund Uski Choot Per 1 – 2 Baar Ragarnay Kay Baad Aik Jhatkay Sai Suki Choot Mein Ghusa Diya…. Lund Uski Choot Mein Janay Mein Koi Mushkil Nahi Huee…. Kuch Dair Pehlay Ki Chudai Sai Uski Choot Kafi Khul Chuki Thi….
Meinay Shabana Ko Uthaya Aur Apnay Lund Per Bitha Liya … Shabana Mera Lund Per Taizi Sai Ooper Neechay Ho Rahi Thi …. Aur Mein Bhi Neechay Sai Ooper Ki Taraf Dhakkay Maar Raha Tha…..Uskay Moon Sai Pehlay Ki Tarhan Meri Tareefein Nakal Shuroo Ho Gayein…..
Woh Bohat Garam Aurat Thi…. Shayad Apnay Orgasm Kay Kareeb Thi…. Meinay Dhakko Ki Speed Barha Di Aur Aagay Haath La Kar Uski Choot Ka Dana Apni Fingers Sai Masalnay Laga….. Usko Bohat Hi Maza Aa Raha Tha…. Boli… Ahhhhhhh …O Meray Jani…. Mein Mari…. Meray Sweet Bhayya … Apni Masoom Si Choti Si Behan Ko Chod Chod Kar Aaj Maar Dalo….Ahhhhhh… Imran Bhai Mein Apkay Piyar Mein Marr Jaoongi… Ahhhhh Mein Ayeeee…. Jani Mein Chhoot Rahi Hoon….. Yehi Batein Kartay Huay Shabana Chhoot Gayee
Mein Lagatar Usko Neechay Sai Chodta Raha Aur 2 – 3 Minutes Kay Baad Hi Shabana Aik Baar Aur Choot Gayee… Shabana Boli…. Meri Jaan Mujhay Lagta Hai Mein Aaj Isi Tarhan Chhoot-Ty Chhoot-Ty Hi Mar Jaoongi…. Ahhhh… Yeh Keh Kar Woh Phir Chhoot Gayee……
Shabana Ki Yeh Batein Sunn Kar Mein Aur Bardasht Na Kar Saka Aur Mera Lund Sai Bhi Meri Cum Ka Flood Nikalnay Laga…. Kafi Dair Isi Position Mein Renhnay Kay Baad Mein Nay Apna Lund Nikala Aur Hum Dono Nai Shower Liya Aur Wapis Room Mein Aa Gayay… Itni Zabardast Chudai Kay Baad Hum Dono Ko Bhook Lag Gayee Thi. Hum Nai Bacha Hua Khana Khaya, Doodh Aur CHICKEN SOUP Piya…. Meinai Time Dekha Tu 3:30am Ho Rahay Thay…. Meinay Lights Off Kein Aur Hum Dono Blanket Mein Ghuss Gayay…. Few Minutes Kay Baad Hum Gehri Neend So(Sleep) Chukay Thay….
Agar Aap Mugh Say Just Friendship Kerna Chahtee Hain Ya Aap K Dill Main Bhee Sex Enjoy Kernay Kee Khowish Hay To Plz Mughy Mail Krain Oor Haan Sex Main AGE Or Rishtoon Kee Koy Qaid Nahee Hoti Lund Sirf Phudi Ko Or Phudi Sirf Lund Ko Pehchantee Hay

पिंकी और सोनिया के बाद-4 - Pinki Aur Soniya Ke Bad 4


पिंकी और सोनिया के बाद-4
प्रेषक : वरिंदर

"हाय जीजू ! आपका बहुत बड़ा है ! क्या लौड़ा पाया है आपने ! मोना की तो चांदी है !"

मेरा पूरा लौड़ा जब घुस गया तो वो उठकर उठ उठ कर चूत मरवाने लगी- हाय जीजू ! और तेज़ मारो मेरी ! आज मुझे दिल खोल कर फक करो !

"साली, तेरा खसम कितने दिन बाद तुझे चोदता है?"

"उसकी छोड़ो जीजू ! वो तो गाण्डू है ! कई कई दिन पास नहीं आता ! उसका लड़कों के साथ ज्यादा लगाव है, वो एक गे-क्लब का मेंबर है ! जीजू, मुझे बच्चा चाहिए !

"यह तो मैं नहीं मानता कि तू उसके अलावा और किसी मर्द से वहाँ नहीं चुदती होगी? जैसी तुझमें भूख है !

लेकिन जीजू उससे मैं बच्चा नहीं लेना चाहती, वो नीग्रो है, उसका बच्चा भी वैसा हो गया तो फिर?

"यह ले सह चोट जीजे की ! मैं जोर जोर से उसको पेलने लगा। वो नशे में थी, ऊपर से गोली का असर था, गंदी-गंदी गालियाँ दे रही थी अपने खसम को ! नीग्रो का कितना बड़ा है ! आप जितना ही है ! लेकिन पिछले पांच महीनों से वो भी मेरी लाइफ में नहीं है !

तेरी गाण्ड मारूँ क्या?

"आज नहीं जीजू ! आज मेरी फुद्दी को अपना पानी पिलाओ ! रोम रोम खिल जाएगा इसका !

बोली- एक बार निकालो, मुझे रस से भीगा हुआ लौड़ा चाटना है !

उसने मेरा गीला लौड़ा साफ़ किया और बोली- एंगल चेंज करो जीजू !

कौन सा पसंद है साली रंडी तुझे?

हम्म ! मैं रंडी? आपके लिए रंडी भी बन जाऊंगी ! मुझे बहुत मजा आता है घोड़ी बन कर !

तो बन जा घोड़ी !

वो घोड़ी बन गई, बोली- जीजू पहले फुद्दी को चाटो !

मुझे उसकी फुदी पहले ही बहुत स्वाद लगी थी इसलिए चपड़-चपड़ मैं उसकी फुद्दी चाटने लगा। वो आहें भरने लगी।

तुम तीनों बहनें बहुत आग हो बिस्तर पर !

क्या मतलब है आपका? तीसरी कौन?

तेरी बड़ी बहन पिंकी और कौन?

वो भी आपसे चुद गई जीजू?

क्या करूँ रानी ! उसके घरवाले ने आधी रात को घर से निकाल दिया था, उस दिन मोना घर नहीं थी। वो आई, उसने खुद दारु पीकर मुझे मजबूर कर डाला कि मैं उसकी फुद्दी मारूँ !

जीजू, एक बात कहूँ, आप सोनिया को वापस भेज दो ! मैंने उसको फेसबुक पर देखा, उसके छोटे छोटे कपड़े ! उसकी बातों से बहुत चालू लगती है, कहीं बिगाड़ने में आप लोगों का मुफ्त में नाम ना आ जाए?

वो साली है ही रंडी ! उसने मुझे पागल कर दिया है, एक रात हम दोनों ही घर थे, पहले बोली- मुझे अकेली डर लगता है, मेरे साथ सोई। आधी रात को मेरी जाग खुली तो देखा कि वो मेरे लौड़े से खेल रही थी। मैंने थप्पड़ मारा, रोने लगी। फिर से मेरा लौड़ा पकड़ने लगी। मैंने एक थप्पड़ जड़ा, उसने मेरे सामने अपने सार कपड़े उतार दिए, मेरा लौड़ा चूसने लगी।

हाय जीजू, आपने किसी को छोड़ा भी है क्या?

मैंने उसकी फुद्दी में लौड़ा डालते हुए कहा- क्या करूँ? टच वुड ! मर्दानगी भगवान् ने बहुत दी है ! ऊपर से मेरा लौड़ा जो औरत लड़की देख लेती है, फिर इसके सपने लेती रहती है !

जोर जोर से उसकी फुद्दी मारने लगा, नीचे लटक रहे उसके दोनों मम्मे मैं मसलने लगा, सहलाने लगा।

वो भी गांड को धकेल-धकेल अपना फूद्दा मरवा रही थी- अह जीजू ! वाह ! सच में आपकी मर्दानगी गज़ब की है ! अह ! और करो जीजू !

मैंने उससे सोनिया और पिंकी के बारे कोरा झूठ बोला, दोनों को मैंने तरीके से बिस्तर में लिटाया था, नाम उनका लगा दिया मैंने।

अह अह ! एकदम से पलटी, मुझे सीधा लिटाया और मेरे लौड़े पर बैठ कर कूदने लगी।

साली, यह सब कहाँ से सीखा तुमने?

उसके मम्मे उछलते थे जब वो हिलती थी, बोली- उस नीग्रो ने मुझे यह सब चीज़ें करवा करवा के सिखा दी हैं, जीजू अब फिर से नीचे लिटा कर टांगें उठवा लो मेरी और जोर जोर से पेलो मुझे ! आज की रात जीजू आपके नाम ! अब तो मौका निकालना पड़ा करेगा !

मैंने जोर जोर से उसकी फुद्दी को झटके देने शुरु कर दिए, उसके अंग-अंग को मैंने मसला।

जब तू एअरपोर्ट में मिली, गले लगी थी न जान, मेरा गोपाल तब से व्याकुल था !

फाड़ डालो मेरी जीजा जी !

मैंने भी स्पीड बढ़ा दी और हम एक साथ झड़ने लगे। मेरे माल ने उसकी फुद्दी को अपने अमृत से भर दिया था।

इतना मजा आया कि क्या बताऊँ जीजू !

बताना क्या है रानी ! अब तो तेरी फुद्दी का भोसड़ा बना दूंगा।

सुबह जब उसकी नींद खुली, वो एकदम नंगी थी, मैंने सिर्फ अंडरवीयर पहना हुआ था, मुझे काफी नींद आई थी। उसने पिंकी की तरह रात को लेकर पछतावा नहीं दिखाया। इसने तो मेरे लौड़े को मसलते हुए अपने होंठों को छाती पर रगड़ते हुए उठाया, मेरा सोया लौड़ा भी खड़ा कर दिया।

मैंने कहा- जान, अब नहीं !

घर चलें?

घर आ गए, दो दिन सभी उससे मिलने आते रहे, हमें मौका नहीं मिल पाता था, वो मेरा लौड़ा लेने को पागल हुई पड़ी थी, उसने मोना को रात को खाने में नींद की ऐसी दवाई खिलाई कि मोना खाना खाते बिस्तर पर लेटी, उसको ऐसी नींद आई मानो वो जिंदा ही न हो।

छोटी साली ने कमरा बंद करके मेरा लौड़ा चूसा, बोली- गांड मरवाने को तयार हूँ जीजू !

स्लो म्यूजिक लगा वो मुझे नाच कर दिखाने लगी, एक एक कर उसने कपड़े उतारे और ज़मीन पर फेंके। दारु के पैग बना कर पिए और पिलाए।

हमने सोचा ही नहीं था कि कामवाली की बेटी को मोना ने दिन रात के लिए रख लिया था जब तक छोटी इंडिया में थी, वो साली को दूध देने आ गई, उस वक़्त मेरा लौड़ा उसकी गांड फाड़ रहा था, वो घबरा कर भाग गई।

हम भी पहले डर गए, मैंने साली को कहा- समझा लूँगा, तुम बस प्यार करती जाओ ! इसकी माँ ने मुझसे खूब फुद्दी मरवाई है, तब मेरी शादी भी नहीं हुई थी और अब लगता है इसका मुंह भी बंद करना होगा !

बाकी अगले भाग में ! बहुत कुछ बाकी है अभी यारो !

varinder9inchi@yahoo.com

आठ साल बाद मिला चाची से-3 - Ath Sal Bad Mila Chachi Se 3


आठ साल बाद मिला चाची से-3
प्रेषक : संदीप शर्मा

अचानक चाची ने धक्के लगाना बंद कर दिया, उनका पूरा बदन ऐंठने लगा तो मैं समझ गया कि चाची आने वाली हैं, पर ऐसी हालत में चाची का धक्के लगाना ना मुमकिन था जो कि मैं पहले से ही जानता था, इसीलिए मैंने अपनी जांघों का इस्तेमाल करते हुए चाची की तरफ के धक्के लगवाने शुरू किए और अगले कुछ सेकंड में चाची की चूत से अंदर से जैसे कोई झरना फूट गया जिससे मेरा पूरा लण्ड भीग गया और चाची, वो तो लगभग बेहोश ही हो चुकी थी और पूरी तरह से मेरे ऊपर गिर चुकी थी ....

अब की बार उनके मुँह से कोई आवाज नहीं निकली थी.. मैंने लण्ड को बाहर निकाले बिना चाची को अपनी बाँहों में लिया और मैं सीधा लेट गया और चाची को मेरे ऊपर लिटा लिया।

चाची पूरी तरह से थक चुकी थी और वो लगभग सो गई थी लेकिन मैं नहीं सोया था....

चाची को अपने ऊपर लिटाने के बाद मैंने उनके बालों में हाथ फिराना शुरू कर दिया उनके नंगे कंधों को अपने होंठों से काटने लगा, उनकी नंगी पीठ पर अपनी उंगलियाँ चलाने लगा और मुझे यह करते हुए 5 मिनट भी नहीं बीते होंगे कि चाची के शरीर में फिर से ताकत आना शुरू हो गई और चाची ने मेरे चुम्बनों का जवाब देना शुरू कर दिया।

अब चाची मुझे और मैं चाची को चूम रहा था, मैं उनके बालों से खेल रहा था उनकी पीठ पर मेरे हाथ चल रहे थे और वो मुझे अपनी बाँहों से पकड़ कर मेरे लण्ड पर उछल रही थी।

अगर चाची इसी तरह से उछलती रहती तो चाची को फिर से खत्म होने में 5 मिनट भी नहीं लगते जबकि मैं इस बार चाची को अच्छे से चोदना चाहता था इसलिए मैंने चाची को पलट कर नीचे कर लिया और उनकी दोनों टांगों को घुटने के अंदर से हाथ डाल कर फ़ैलाते हुए पूरी तरह से चूत को खुलवा दिया और दोनों हाथो से उनके बोबे दबाने लगा, साथ ही साथ मेरे होंठों से उनके रसीले होंठों को पीने लगा।

लण्ड को चूत में पेल कर औरत की जांघों के नीचे से हाथ डाल कर पूरी तरह से टाँगें ऊपर करते हुए बोबे दबाना या कंधे पकड़ कर चोदना ऐसा आसन है जो मुझे बहुत पसंद है क्योंकि उसमें औरत के शरीर के हर हिस्सा का पूरा मजा लिया जा सकता है और इस आसन में मजा इसलिए ज्यादा मिलता है कि जितना भी ताकत से चोदो आपके पास चोदने के लिए पूरी जगह होती है और जल्दी झड़ने का डर नहीं होता।

चाची को इसी तरह से मैं उनके बोबे दबा दबा कर उनको चोदने लगा और उनके होंठों से को होंठों से मिला कर उनके होंठों का शरबत पीने लगा और पूरी ताकत से उनकी चूत में अपने लण्ड को अंदर-बाहर करते हुए उनको चोदने लगा।

इस सब के साथ भी मेरे हाथ उनकी दोनों बड़ी बड़ी चूचियों को मसल रहे थे और मेरे होंठ उनके होंठों को चूसते जा रहे थे और जैसे ही मेरे होंठों से उनके होंठ आजाद होते, उनके मुँह से आह उह की आवाजें निकलना शुरू हो जाती थी।

मैं चाची को ऐसे चोद ही रहा था कि उनका बदन फिर से अकड़ने लगा और चाची ने अपने दोनों हाथों से मुझे कस कर पकड़ लिया, मैं कुछ करता इसके पहले ही चाची की चूत ने एक झरना छोड़ दिया जो की मेरे लण्ड को पूरी तरह से भिगो गया।

इसका असर यह हुआ कि चाची की पूरी चूत गीली हो गई और मैंने चाची की टांगों को छोड़ कर चाची की पीठ को दोनों हाथों से जकड़ कर उनकी एक चूची को मुँह में भर लिया और उनको तेजी से चोदने लगा। चाची ने भी पूरा साथ देते हुए अपनी दोनों टाँगें मेरी पीठ पर जकड ली और अपनी बाहें मेरे कंधो पर लपेट ली।

मैं चाची को धक्के लगा लगा कर जोर जोर से चोद रहा था और चाची हर धक्के पर वाह मेरे राजा .... और जोर से .... और जोर से .... चोद दो.... आज आग बुझा दी तुमने मेरे राजा मेरी चूत की जैसी बातें बोल रही थी।

हर धक्के पर चाची के मुँह से आवाज निकल रही थी और मेरा जोश और बढ़ रहा था। तभी चाची ने अपनी चूत का पानी एक बार और छोड़ दिया और मैंने भी अपनी पूरी ताकत से धक्के लगाये और दस-बारह धक्कों में ही मैं भी चाची की चूत में ही झड़ गया।

इसके बाद मैं तो काफी देर तक चाची की चूत में ही लण्ड डाल कर पड़ा रहा जब तक कि मेरे शरीर में थोड़ी जान नहीं आ गई।

इसके बाद जो हुआ उससे चाची मुझ पर ऐसे फ़िदा हुई कि वो जिंदगी भर के लिए मेरी मर्जी की गुलाम हो गई !

इसके बाद क्या हुआ उसे जानने के लिए अगली कड़ी का इन्तजार करिये और तब तक अपने मेल मुझे भेजते रहिये।

मैं फेसबुक पर भी आपको मिल सकता हूँ मेरा फेसबुक ID भी यही है।

संदीप शर्मा

indore.sandeep13@gmail.com


आठ साल बाद मिला चाची से-6 - Ath Sal Bad Mila Chachi Se 6


आठ साल बाद मिला चाची से-6
प्रेषक : संदीप शर्मा

चाची की चुसाई ऐसी थी कि मैं पूरी तरह से पस्त हो चुका था, मैंने कई लड़कियों और औरतो को चोदा है, उनसे चुसवाया है लेकिन मैं कभी भी इसके पहले इस तरह से पस्त नहीं हुआ था।

जब चाची ने मुझे पूरा निचोड़ लिया तो मेरे बगल में आकर मुझे चूमा और बोली- बोलो रज्जा? और क्या करूँ?

मैंने कहा- चाची, थोड़ी देर बस मेरे पास ऐसे ही मेरी बाँहों में आ कर लेटी रहो ! फिर बताता हूँ क्या करना है।

चाची ने पास में से एक कम्बल उठाया और उसे ओढ़ कर मेरे पास चिपक कर लेट गई। हम दोनों को कब नींद आ गई, पता ही नहीं चला। और जब नींद खुली तो सुबह की रोशनी पूरे आंगन में बिखरी हुई थी, चाची मुझसे चिपक कर मेरी बाहों में लेटी हुई थी पर जागी हुई।

मैंने चाची को देखा तो चाची ने बड़े प्यार से मुझे होंठों पर चूम लिया।

मैंने कहा- आपने मुझे जगाया क्यों नहीं?

तो बोली- तुम सोते हुए बड़े प्यारे लग रहे थे, इसलिए नहीं जगाया।

मैंने पूछा- कब से देख रही हो?

तो जवाब मिला- नहीं मालूम !

चाची का इस तरह से देखना और उनका लगभग नंगा बदन मेरे लण्ड को खड़ा करने के लिए काफी था, मैंने चाची से कहा- चाची, अभी कल वाला वादा बाकी है !

तो वो बोली- हाँ राजा, बोलो ना अब क्या करूँ? वैसे भी प्रिंस अभी अभी दो घंटे और नहीं उठेगा तो अगले दो घंटे पूरी तरह से हमारे हैं।

मैंने कहा- पीछे तो नहीं हटोगी?

तो जवाब मिला- जब कल पीछे नहीं हटी तो अभी कैसे पीछे हट जाऊँगी?

मैंने कहा- ठीक है चाची ! आपकी मर्जी !

मैंने उनसे कहा- जाओ, जाकर दूध से मलाई निकाल कर ले आओ एक कटोरी में !

और चाची ने बिना सोचे समझे आदेश का पालन किया।

जब चाची मलाई ले आई तो मैंने पूछा- आपको पता है मैं क्या करने वाला हूँ?

वो बोली- नहीं राजा ! तुम क्या करोगे, अब मैं समझ भी नहीं सकती।

चाची के हाथ से कटोरी ले कर मैंने तख्त पर रखी और चाची को अपने पास खींच लिया और उनके रसीले होंठों को चूसने लगा।

यह बड़ा ही अजीब पर मजेदार स्वाद होता है दोस्तो ! सुबह-सुबह बिना ब्रश किए चूमना...

हालांकि हर किसी को इस तरह से चूमना पसंद नहीं आता पर उस वक्त तो मैं जन्नत की सैर कर रहा था। मैंने चाची को चूमते हुए ही उनकी ब्रा के दो टुकड़े कर दिये और पेंटी को भी लगभग फाड़ दिया और फाड़ने के बाद उनकी पैंटी को खिसका कर नीचे कर दिया क्योंकि उनकी पैंटी फटने के बाद भी पूरी तरह से नहीं उतर पाई थी।

चाची बोली- अब क्या करना है? बोलो?

मैंने कहा- पहले अपने मुंह में ढेर सारी मलाई रखो और उसके बाद मेरे लंड पर अपने मुंह से वो सारी मलाई लगाओ और बची हुई मलाई निगल जाओ।

चाची उठी, हाथ में मलाई की कटोरी ली और थोड़ी सी मलाई उठा कर मेरे लंड पर रख दी, उसके बाद उस पूरी मलाई को चूस गई और फिर मेरे लंड को अपने मुह में ले लिया और उस पर मलाई लगाने लगीं और बची हुई मलाई निगल गई।

चाची बोली- बताओ, अब क्या करना है?

तो मैंने चाची से कहा- अब आपकी गाण्ड मारूँगा !

यह सुनना था कि चाची का डर के मारे बुरा हाल हो गया, बोली- एक बार तुम्हारे चाचा ने कोशिश की थी, तब दर्द के मारे पूरे घर में आवाज फ़ैल गई थी ! अभी तुम करोगे और मैं चीखी तो क्या होगा?

मैंने कहा- अगर आपको डर लगता है तो नहीं करूँगा !

इसका जवाब यह मिला कि चाची पलट कर कुतिया की तरह बैठ गई और अपनी गाण्ड मेरे सामने रख दी।

यूँ तो मेरा लण्ड मलाई की चिकनाई से पहले से चिकना था लेकिन चाची की गाण्ड तब तक किसी ने नहीं मारी थी तो मैंने सोचा कि चाची को दर्द होगा ही, इसलिए अपना अंडरवियर उठा कर चाची के मुँह में घुसेड़ दिया ताकि चाची के मुँह से चीख ना निकल सके।

इसके बाद मैंने अपने दोनों हाथों से चाची की गाण्ड को फैलाया और उनकी गांड के छेद पर लण्ड रख कर हलका सा धक्का मारा। इसका नतीजा यह हुआ कि चाची भी आगे खसक गई और मेरी मेहनत बेकार ही गई।

फिर मैंने चाची को बिस्तर पर पेट के बल लेटा कर करवट किया और एक पैर पूरी तरह से ऊपर करके गाण्ड पर लण्ड रखा और एक आराम से अन्दर को धकेला तो मेरे लण्ड का सुपारा चाची की गाण्ड को फाड़ता हुआ अंदर घुस गया।

चाची के मुँह से एक दबी हुई चीख निकलने लगी तो मैंने चाची से कहा- चाची, दर्द हो रहा है क्या ?

उन्होंने इशारे में हाँ कहा।

उनका हाँ कहना था मैंने और ताकत से अपना पूरा लण्ड चाची की गांड में पेल दिया और चाची बुरी तरह से तड़प उठी जैसे उनकी गाण्ड में किसी ने गर्म सरिया घुसेड़ दिया हो। पर मैं इतने पर ही नहीं रुका, चाची के दर्द की चिंता किए बिना मैंने धक्कम-पेल गाण्ड मराई शुरू कर दी।

धीरे धीरे चाची को भी मजा आने लगा और वो और जोर से मेरे राजा कर के पूरी ताकत से अपनी गाण्ड मेरे साथ मरवाने लगी।

हमारा यह कार्यक्रम 8-9 मिनट चला होगा और इस बीच चाची झर चुकी थी और मैं भी झरने ही वाला था, मैंने अपनी गति तेज की और चाची की गाण्ड में पूरा गर्म-गर्म माल निकाल दिया।

अब चूंकि चाचा जी के आने का वक्त होने वाला था इसलिए मैंने चाची से कहा- मैं नहा कर तैयार हो जाता हूँ नहीं तो चाचा आ जायेंगे !

इतना सुनना था कि चाची मुझसे चिपक गई और मेरे लण्ड से फिर से खेलने लगी।

चाची की इस हरकत के कारण मेरा लण्ड फिर से जाग गया और चाची जी ने मेरे लण्ड को अपने मुँह में लेकर एक बार फिर मुझे मजा दिया।

इसके बाद मैं नहाने चला गया और तब तक चाचा जी भी आ गए। फिर मै वहाँ से चाची को एक उस दिन का आखिरी चुम्बन करके निकल गया और गांव में मेरी उनसे दोबारा मुलाकात नहीं हुई।

इसके बाद चाची से मैं अभी दो महीने पहले मिला था जब वो मेरे एक्सिडेंट के कारण मुझे देखने आई थी...

वो कहानी फिर कभी !

मुझे बताइए कि आपको मेरी कहानी कैसी लगी?

संदीप शर्मा

indore.sandeep13@gmail.com

जागी सी सोई सोई !-1 - Jagi Si Soyi Soyi 1


जागी सी सोई सोई !-1
प्रेषक : गुल्लू जोशी

बात उन दिनों की है जब मेरा दाखिला कॉलेज में हुआ ही था। भैया अधिकतर काम के सिलसिले में बाहर ही रहते थे। उन्होंने अपने पास मुझे शहर में बुला लिया था। उनके आये दिन बाहर रहने से भाभी बहुत परेशान रहने लगी थी। ऐसे में वो मेरा साथ पाकर खुश हो गई थी।

भाभी को रात को सोते में बड़बड़ाने की आदत थी। कभी कभी तो वो रात को उठ कर चलने भी लगती थी। भैया भी इसकी वजह से बहुत परेशान रहते थे। इसी लिये जब वे बाहर रहते थे तो वो अपनी नौकरानी को अधिक वेतन दे कर रात को घर में ही सुलाते थे। पर मेरे आने से अब उन्हें आराम हो गया था।

तो आइए आपको मैं अब भाभी के विचित्र करनामे बताता ही। यह सब कपोल कल्पित नहीं है, वास्तविक है। कैसे अब हमारे बीच खुलापन आ गया था, और कैसे उनकी यह आदत छूट गई।

मैं भाभी के कमरे में एक कोने में अपना पलंग लगा कर सोता था, ताकि मैं उनकी हरकतों पर नजर रख सकूँ। एक रात को मेरी नींद अचानक ही खुल गई। मुझे अपने ऊपर एक बोझ सा महसूस हुआ। भाभी नींद में मेरे बिस्तर पर आ गई थी और जैसे मर्द औरत को चोदता है उस मुद्रा में वो मेरे ऊपर सवार थी। उन्होंने मेरे कूल्हों पर पूरा जोर डाल रखा था। उनकी सांसें मुझे अपनी गर्दन पर महसूस

होने लगी थी। उन्होंने चोदने की स्टाईल में अपने कूल्हे मेरे लण्ड पर मारना आरम्भ कर दिया था। शायद वो नींद में मुझे चोदने का प्रयास कर रही थी। मुझे तो मजा आने लगा था। मैंने उन्हें यह सब करने दिया।

तभी वो लुढ़क कर मेरी बगल में गिर सी गई और खर्राटे भरने लगी। शायद वो झड़ गई थी। मुझसे लिपट कर वो ऐसे सो गई जैसे कोई बच्चा हो।

मैंने धीरे-धीरे लण्ड मसल कर अपना लावा उगल दिया। ढेर सारे वीर्य से मेरा अण्डरवियर पूरा ही गीला हो गया। मैं तो भाभी को लिपटाये हुये उसी गीलेपन में सो गया।

सुबह जब उठा तो भाभी मेरे पास नहीं थी। पर मुझसे वो आंख भी नहीं मिला पा रही थी।

"गुल्लू, वो जाने मैं कैसे रात को आपके बिस्तर पर आ गई? देखो, अपने भैया को बताना नहीं !"

"अरे नहीं भाभी, ऐसी कोई बात नहीं थी, आप बस नींद में मेरे पास सो गई थी बस, और क्या?"

'ओह, फिर ठीक है, प्लीज बुरा ना मानना, यह मेरी नींद में चलने की आदत जाने कैसे हो गई !"

मैंने भी सोचा कि बेचारी भाभी खुद ही परेशान है उसकी मदद ही करना चाहिए, सो मैंने उन्हें दिलासा दिया, और समझाया कि आप निश्चिन्त रहें, सब ठीक हो जायेगा।

पर अगली रात फिर से वही हरकत हुई। मैं रात को देर तक कोई सेक्सी कहानी पढ़ रहा था। मेरा लण्ड भी तन्नाया हुआ था। तभी वो उठी। मैं सतर्क हो गया। भाभी सीधे सोते हुए मेरी तरफ़ आने लगी।

मैं अपने लण्ड को दबा कर नीचे करने कोशिश करने लगा। पर हाय रे ! वो तो और ही भड़क उठा।

वो सीधे मेरे बिस्तर पर आ गई और बिस्तर पर चढ़ गई। मैं हतप्रभ सा सीधा लेटा हुआ था। भाभी ने अपनी एक टांग ऊपर उठाई और मेरी जांघों पर चढ़ गई।

फिर वो ऊपर खिसक कर मेरे खड़े लण्ड पर बैठ गई और उसे अपनी चूत के नीचे दबा लिया। मेरे मुख से एक सुख भरी आह निकल गई। फिर वो मेरे ऊपर लेट गई और अपनी चूत को मेरे लण्ड पर घिसने लगी। तभी शायद वो झड़ गई, मैंने भी आनन्द के मारे लण्ड पर मुठ लगाई और अपना माल निकाल दिया।

भाभी एक बार फिर से मेरे से बच्चों की भान्ति लिपट कर गहरी निद्रा में चली गई।

मेरा मन खुश था कि चलो बिना किसी महनत के मेरे मन की अभिलाषा पूरी हो रही थी। भाभी ऊपर चढ़ कर मुझे आनन्दित करती थी, फिर बस मुझे अपना माल ही तो त्यागना था। भाभी रोज ही मुझसे पूछती थी कि उनके द्वारा मुझे कोई तकलीफ़ तो नहीं हुई। मैं उन्हें प्यार से बताता था कि भाभी के साथ सोना तो गहरे प्यार की निशानी है और बताता था कि वो मुझे कितना प्यार करती हैं।

भाभी मेरी बात सुन कर खुश हो जाया करती थी।

मेरे दिल में अब हलचल होने लगी थी। भाभी तो मेरे लण्ड के ऊपर अपनी चूत घिस-घिस कर झड़ जाती थी और मैं ? बिना कुछ किये बस नीचे पड़ा तड़पता रहता था।

आज मैंने सोच लिया था कि मजा तो मैं पूरा ही लूँगा।

मैं रात को देर तक भाभी का इन्तज़ार करता रहा। पर आज वो नहीं उठी। मैं उनकी आस में बस तड़पता ही रह गया। दिन भर मैं यह सोचता रह गया कि आज क्या हो गया? आज क्यों नहीं उठी वो ?

अगली रात को भी मैं देर तक जागता रहा। आज भाभी रात को नींद में उठी। मैं चौकन्ना हो गया। मैंने तुरन्त अपना पजामा और बनियान उतार दिया, बिल्कुल नंगा हो कर सीधा लेट गया। लण्ड चोदने के लिये उत्सुकता से भर कर कड़क हुआ जा रहा था।

भाभी जैसे ही मेरे बिस्तर पर चढ़ी, मैंने जल्दी से उनका पेटिकोट ऊपर कर दिया। उनकी नंगी चूत की झलक सी मिल गई। मेरी नंगी जांघों पर उनके नंगे नितम्ब मुलायम सी गुदगुदी करने लगे।

फिर उन्होंने अपनी चूत उठाई, मैंने अपने लण्ड को हाथ से सीधा पकड़ लिया और भाभी के बैठने का इन्तज़ार करने लगा। जैसे ही वो नीचे बैठने लगी, मैंने लण्ड को सीधा कर चूत के निशाने पर साध लिया। भाभी ने धीरे से अपनी चूत को मेरे लण्ड पर रख दिया। गीली चूत ने लण्ड पाते ही उसे अपनी गुफ़ा में ले लिया। मैं एक असीम सुख से भर गया।

अब मुझे नहीं, सभी कुछ भाभी को करना था। मुझे आज एक अति-सुखदायक आनन्द की प्राप्ति हो रही थी। भाभी के धक्के मेरे लण्ड को मीठी गुदगुदी से भर रहे थे। मैं भी अब जोश में आ कर नीचे से लण्ड को उछाल कर उनकी योनि में अन्दर-बाहर करने में भाभी को सहयोग दे रहा था।

इस सब कार्य में मैंने नोट किया कि भाभी की आँखें बन्द ही थी।

फिर मुझे लगा कि जैसे वो झड़ गई है। वो मेरी बगल में ढुलक कर लेट गई और खर्राटे भरने लगी। मुझ से अब सहन नहीं हो पा रहा था। मैंने भाभी को सीधा लेटाया और मैं उनके ऊपर भाभी की टांगें चौड़ी करके बैठ गया। फिर अपना कड़क लण्ड चूत में घुसा दिया। पहले तो धीरे धीरे उन्हें चोदता रहा फिर जैसे मुझ पर कोई शैतान सवार हो गया। मैंने भाभी के स्तन भींच लिये। मैं पूरी तरह से उन पर लेट गया और उन्हें चोदने लगा।

मैंने महसूस किया कि भाभी के मुख से भी आनन्द भरी सिसकारियाँ फ़ूट रही हैं, उनके होंठ थरथरा रहे हैं, उनके जिस्म में कसावट भर रही थी। भाभी मेरी कमर को अपनी तरफ़ खींचने लगी थी।

मैंने उन्हें देखा तो उनकी बड़ी बड़ी आँखें ...

कहानी जारी रहेगी !

ggullujoshi@gmail.com


भारती दीदी - Bharti Didi


भारती दीदी
प्रेषक : भारती बेरी

अन्तर्वासना के सभी पाठकों और सर्वप्रिय गुरु जी को मेरा नमस्कार..

मेरा नाम राजेश है, मैं अन्तर्वासना का बहुत बड़ा प्रशंसक हूँ और सभी कहानियाँ पढ़ चुका हूँ। मैं अपनी कहानी कई दिनों से आपसे कहने की कोशिश कर रहा था सो आज लिख रहा हूँ।

मैं एक अच्छे घर-परिवार से हूँ। मेरी उम्र 25 साल, कद 6 फीट, मेरे लिंग की लम्बाई 6.5 ईंच और मोटाई 1.5 ईंच है। मेरे घर में मेरे अलावा माँ और एक बड़ी बहन भारती हैं जिसकी उम्र 30 साल हैं। वो बहुत ही फेशनेबल है। मेरी दीदी की फिगर 24-36-24 बहुत ही मस्त हैं उसकी चूचियाँ भी मस्त बड़ी हैं। बड़ी दीदी की शादी कुछ चार साल पहले हुई थी पर अब वो विधवा हो गई हैं।

मुझे मेरी दीदी बचपन से ही बहुत चाहती थी क्यूंकि मैं घर में सबसे छोटा हूँ। हम दोनो एक ही कमरे में सोते थे और दीदी के 20 साल की होने तक तो हम एक ही बेड प़र सोते थे।

प़र एक दिन माँ ने हमे अलग-अलग बिस्तर प़र सोने को कहा। मैंने हमेशा से ही दीदी को चोदने की सोची थी और रात को दीदी के सोते समय उनकी चूचियाँ और चूत कभी कभी दबा लेता था। प़र डर के कारण आगे कुछ नहीं कर पाता था। हाँ, बाथरूम में मुठ ज़रूर मार लेता था। दीदी को चोदने को मेरा बहुत मन करता था।

अब भारती दीदी वापस आ गई थी। सो मैं रोज उससे अच्छी अच्छी बातें करने लगा ताकि दीदी को किसी पुरानी घटना की याद न आये।

एक दिन भारती दीदी बाथरूम से नहाकर आ रही थी तो अचानक मेरी नज़र उन पर पड़ गई, शायद बाथरूम में तौलिया नहीं था, वो गीले बदन पर गाउन पहने थी। भारती दीदी के कपड़े शरीर से चिपके हुऐ थे और वो बहुत ही सुन्दर लग रही थी।

उस दिन फिर से मैंने मुठ मारी।

हम दोनों हमेशा कंप्यूटर प़र गेम और चैट करते रहते थे। एक दिन दीदी साथ वाले कमरे में सो रही थी। मैंने कंप्यूटर प़र जानबूझ कर अन्तर्वासना की एक कहानी 'दीदी की चुदाई' पढ़नी शुरू की। अचानक दीदी पास आकर बैठ गई और उसने वो कहानी पढ़ ली उसने मुझसे कहा- तुम यह सब पढ़ते हो क्या?

मैं चुपचाप उनको देखने लगा। मैंने मौका देख कर उसके होठों पर चूम लिया। भारती दीदी ने मुझे पकड़ कर अलग कर दिया और कहा- मार खाएगा तू !

और दीदी वहाँ से उठ कर जाने लगी। जाते समय मेरी तरफ देख रहस्यमयी मुस्कान दी। मैंने भी मुस्कुराते हुए दीदी की तरफ देखा।

थोड़ी देर में दीदी ने मुझे आवाज़ दी और सोने के लिए कहा। मैं सोने आ गया। बातों बातों में दीदी ने मुझे अन्तर्वासना की कहानी के बारे में मुझे पूछा। मैने भी सब बता दिया।दीदी ने मेरी तरफ देखा, मैंने मौका देख कर फ़िर उसके होठों पर चूम लिया। भारती दीदी ने मुझे पकड़ कर अलग करने की कोशिश की लेकिन मैंने उन्हें छोड़ा नहीं और चूमता रहा।

मैं भारती दीदी के होठों को अपने होठों से चिपका कर चूमे जा रहा था, वो बेतहाशा पागल हो रही थी।

फिर मैंने दीदी के स्तनों की तरफ हाथ बढ़ाया। दीदी के स्तनों अग्र भाग को अपनी उँगलियों से चुटकियों से पकड़ कर गोल गोल घुमाया तो दीदी सिसिया उठी। मैंने दीदी के चुचूक पकड़ लिए थे। उनके चुचूकों को जोर से मींसा तो दीदी फिर से सिसिया उठी, मगर दर्द से। दीदी के चुचूक तन गए थे, जो ब्रा में उभर आये थे। मैंने उन पर अपनी उँगलियों के पोर को गोल गोल नचाते हुए छेड़ा, इसी बीच मैंने दीदी का गाउन उतार कर फेंक दिया। दीदी के कोमल गौर-बदन की एक झलक देखने को मिली।

अन्दर दीदी ने काले रंग की ब्रा पहन रखी थी। दीदी ने अन्दर सफ़ेद रंग की पैंटी पहनी थी। मैंने जिंदगी में पहली बार किसी लड़की को इस रूप में देखा था। भारती दीदी का पूरा शरीर जैसे किसी सांचे में ढाल कर बनाया गया था। काली ब्रा में उनके शरीर की कांति और भी बढ़ गई थी। ब्रा के अन्दर दीदी के बड़े बड़े स्तन कैद थे, जो बाहर आने को बेकरार लग रहे थे। मैंने ब्रा के स्ट्रेप को कंधे से नीचे उतार कर स्तनों को ब्रा की कैद से पूरी तरह आजाद कर दिया। भारती दीदी को नग्न देख कर मेरी हालत खराब हो गई। मैंने कभी किसी के स्तनों को छूकर नहीं देखा था फिर से बड़ी बुरी तरह उन्हें मसला।

फिर दीदी ने मेरी टी-शर्ट को ऊपर की ओर उठा दिया। दीदी ने अपने हाथों से मेरा अंडरवियर उतार दिया, फिर लिंग को पकड़ लिया। भारती दीदी मेरे लिंग को देखकर आश्चर्यचकित रह गई। दीदी ने लिंग को प्यार से सहलाया। दीदी के हाथ के स्पर्श से ही लिंग में कसाव बढ़ गया। दीदी ने मुस्कुराते हुए मुझको को चूमा। फिर दीदी तुरंत उसे चूसने लगी। दीदी को इस तरह से करते हुए देख मजा आ रहा था। दीदी ने बाकी लिंग को बाहर से चाट चाट कर चूसा तो मैं भी उत्तेजना से कांप गया।

मैंने उनकी जांघों के ठीक बीच में अपना हाथ फिराया और दीदी की पैंटी की इलास्टिक में उँगलियाँ फंसा कर पैंटी को उतार लिया और हाथों से हल्के हल्के दीदी के योनि प्रदेश को सहलाने लगा तो दीदी गुदगुदी के मारे उत्तेजित हो रही थी।

कुछ देर बाद भारती दीदी बहुत ही उत्तेजित हो गई थी हम दोनों ही अब काफी उत्तेजित हो गए थे। अब मैं दीदी की टांगों को फैला कर खुद बीच में लेट गया। मैंने भारती दीदी की योनि को सहलाया, उनके चूत की खुशबू मस्त थी। फिर उस पर पास में पड़ी बोतल से वैसेलिन निकाल कर लगाई। भारती दीदी की चूत का छेद काफी छोटा था। मुझे लगा कि मेरी प्यारी भारती दीदी मेरे लण्ड के वार से कहीं मर न जाये।

दीदी उत्तेजना के मारे पागल हो रही थी। दीदी ने मुझे लण्ड अन्दर डालने के लिए कहा।

भारती दीदी की योनि को अच्छी तरह से वैसेलिन लगाने के बाद फिर से दीदी की टांगों के बीच बैठ गया। मैंने दीदी की कमर को अपने मजबूत हाथों से पकड़ लिया। मैंने कोशिश करके थोड़ा सा लिंग अन्दर प्रवेश करा दिया। दीदी हल्के हल्के सिसकारियाँ ले रही थी। फिर मैंने एक जोरदार झटका मारकर लिंग को काफी अन्दर तक योनि की गहराई तक अन्दर पहुँचा दिया कि दीदी की चीख निकल गई।

मैंने दीदी के चेहरे को देखा तो मैं समझ गया कि दीदी को दर्द हो रहा है। मैंने दोबारा वैसा ही झटका मारा, तो दीदी इस बार दर्द से दोहरी हो गई। मैंने यह देख कर उनके होठों पर चूम लिया वरना दीदी की आवाज़ दूर तक जाती।

दीदी एक मिनट में ही सामान्य नज़र आने लगी क्योंकि उनके मुँह से हल्की हल्की उत्तेजक सिसकारियाँ निकल रही थी। मैंने फिर से एक जबरदस्त धक्का मारा, दीदी इस बार दहाड़ मार कर चीख पड़ी। मैंने देखा कि इस बार दीदी की आँखों में आँसू तक आ गए थे। मैंने दीदी के होठों को अपने होठों से चिपका लिया और जोर-जोर से उन्हें चूमने लगा और साथ ही दीदी के स्तनों को दबाने लगा। दीदी भी उतनी तेजी से मुझे चूम रही थी।

मैं हल्के हल्के अपनी कमर चला रहा था। अब दीदी धीरे धीरे सामान्य होती लग रही थी। मुझे इतना समझ आया कि जब दीदी को दर्द कम हो रहा है। दीदी ने अपने टांगों को मेरी कमर के चारों ओर कस लिया। मैंने ने दीदी के होठों को छोड़ दिया और पूछा- अब मज़ा आ रहा है क्या ? दर्द तो नहीं है ?

दीदी बोली- आराम से करते रहो ! मैंने एक जोरदार झटका मारकर अपना लिंग दीदी की योनि में काफी अन्दर तक ठूंस दिया। इस बार दीदी के मुँह से उफ़ भी नहीं निकली बल्कि वो आह.. सी.. स्स्स्स...सस... की आवाज़ें निकाल रही थी।

दीदी बोली- मुझे बहुत अच्छा लग रहा है !

यह देखकर तीन चार जोरदार शॉट मारे और लिंग जड़ तक दीदी की योनि में घुसा दिया और अपने होठों को दीदी के होठों से चिपका उनके ऊपर चित्त लेटा रहा।

अब झटकों की गति और गहराई दोनों ही बढ़ा दी। आधे घंटे त़क दीदी के रास्ते में मैं दौड़ लगाता रहा फिर दीदी ने अपनी टाँगें ढीली कर ली। दीदी स्खलित हो गई थी। कुछ ही देर में मेरा शरीर ढीला हो गया। काफी देर मैं दीदी के ऊपर लेटा रहा। दीदी मेरे होठों को बार बार चूम रही थी और आत्मसंतुष्टि के भाव के साथ मुस्कुरा रही थी। मैंने दीदी के कामरस को खूब पिया उन्होंने मेरा सर पकड़ कर अपनी चूत में चिपका दिया था। भारती दीदी को रात में 3 बार चोदा। हर रात मजा कर रहा हूँ।

मेरी कहानी के बारे में बतायें।

b_dd@in.com

चरित्र बदलाव-4 - charitr-badlav-4


चरित्र बदलाव-4
प्रेषक : अमित अग्रवाल

अन्तर्वासना के पाठकों को एक बार फिर से मेरा प्यार और नमस्कार ! काफी मित्रों के ढेरों संदेश मिले, आप लोगों को मेरी जीवन की कहानी इतनी अच्छी लगेगी, मैंने सोचा भी नहीं था। इस बारे में और अपने बारे में ज्यादा बात ना करते हुए मैं अपनी कहानी को आगे बढ़ाता हूँ। नए पाठकों से निवेदन है कि पहले की कहानी जानने के लिए पहले के तीन भाग

चरित्र बदलाव-1

चरित्र बदलाव-2

चरित्र बदलाव-3

पढ़ें।

दीदी स्वाति और चित्रा के साथ सेक्स का मजा लेने और दीदी के साथ सेक्स करने की आजादी मिलने के बाद मैंने काफी दिनों तक उनके साथ सेक्स किया। मगर कहते हैं ना जिस तरह बुरे दिन ज्यादा दिन तक नहीं रुकते उसी तरह अच्छे दिन भी ज्यादा दिनों तक नहीं रुकते।

दीदी की शादी तय हो गई और वो घर छोड़ कर अपने ससुराल चली गई जिसके बाद मैं भी उदास रहने लगा और उसी के कारण मैं एक विषय में फेल हो गया। पापा को ट्यूशन से बहुत नफरत थी इसलिए मैं वो भी नहीं लगवा सकता था तो भाभी से मदद मांगी तो उन्होंने मदद करने के लिए हाँ कह दी।

अब जो लड़का अपनी बहन के साथ सेक्स कर चुका हो वो अपनी भाभी की कितनी इज्ज़त करेगा यह तो हम सब अंदाजा लगा ही सकते हैं। मेरी नज़र हमेशा भाभी के ब्लाऊज के अंदर तक झांकती थी। वैसे तो भाभी की उम्र २6 साल थी लेकिन कामकाजी महिला होने के कारण उन्होंने अपने आपको काफी अच्छा संवार कर रखा था। उनका नाम तो प्रियंका था मगर सब घर में उनको प्रिया ही कहते थे।

योगी(मेरा मित्र) के निवेदन पर भाभी ने उसे भी पढ़ाने के लिए हाँ कह दी क्योंकि वह मेरा मित्र था। अगले दिन से भाभी हमें पढ़ाने लगी क्योंकि भाभी ऑफिस जाती थी इसलिए वो हमें हफ्ते में दो दिन यानि शनिवार व रविवार को ही पढ़ाती थी। वैसे तो योगी पढ़ाई में अच्छा है लेकिन जैसा मैं पहले ही बता चुका हूँ, वह एक नंबर का ठरकी है वो भी बस भाभी को देखने के लिए ही पढ़ने आता था।

एक शुक्रवार की बात है, घर पर भी मेरे अलावा कोई नहीं था, भाभी ऑफिस से जल्दी घर आ गई और बिना कपड़े बदले ही मुझे पढ़ाने लग गई ताकि मेरी पढ़ाई का नुक्सान ना हो क्योंकि अगले दिन हम सबका पिकनिक पर जाने की योजना थी मगर उस दिन मेरा ध्यान पढ़ाई की जगह भाभी के चूचे देखने में ज्यादा था क्यूंकि भाभी ने शर्ट पहनी थी और उसमें से उनके चूचो का आकार साफ़ दिखाई दे रहा था।

कुछ देर पढ़ाने के बाद भाभी बोलने लगी- तुम पढ़ो, मैं अभी आती हूँ।

काफी देर तक भाभी के ना आने पर मैं बिना कुछ सोचे उनके कमरे की तरफ चल दिया। जब मैं उनके कमरे में पहुँचा तो जो देखा वो देख मैं हैरान रह गया। मैंने देखा कि भाभी पारदर्शी नाईटी में बैठी हुई हैं, यह देख कर मेरा लण्ड खड़ा हो गया और मैंने किताबें एक तरफ फेंकी और बिना कुछ सोचे भाभी के पास जाकर उन्हें चूम लिया।

भाभी ने मुझे एक तरफ करते हुए कहा- क्या करते हो? सबके आने का समय हो गया है, किसी ने देख लिया तो?

लेकिन मैंने भाभी की एक ना सुनी और उन्हें फिर चूमने लगा तो भाभी ने मेरे गालो पर एक थप्पड़ मार दिया और चली गई।

मैं वहीं बैठ गया और रोते हुए सोचने लगा कि भैया के रहते हुए भाभी को इसकी क्या जरूरत पड़ गई ।

अगले दिन क्योंकि हम सबको पिकनिक पर जाना था सो हम सभी सुबह जल्दी उठ गए लेकिन अचानक ऑफिस का जरूरी काम पड़ने के कारण भैया का आना कैंसल हो गया तो भैया ने मुझसे भाभी को घुमा लाने को कहा मगर भाभी ने मना कर दिया। लेकिन भैया के जोर देने पर भाभी मान गई। मैं भी भाभी को घुमाने के लिए मेट्रो वाक मॉल ले गया लेकिन भाभी के दिल की बात जानने के लिए मैंने कार जापानी पार्क की तरफ ले ली।

जब हम अंदर पहुँचे तो दूसरे जोड़ों को देखकर भाभी शर्माने और हंसने लगी क्योंकि बाकी एक दूसरे को चूम रहे थे, मैं भी भाभी के मन की बात समझ गया और हम दोनों भी एक बेंच पर बैठ गए और फिर मैंने जबरदस्ती भाभी के होंठो पर होंठ रख दिए, कोई विरोध ना होता देख मैं ऊपर से ही उनके वक्ष मसलने लगा जिससे शायद भाभी थोड़ा गर्म हो गई थी और चुम्बन में मेरा साथ देने लगी।

थोड़ी देर के बाद मैंने भाभी से पूछा- आपने कल ऐसा क्यों कहा कि कोई देख लेगा? क्या आपको इस पर ऐतराज नहीं था?

तो वो बोली- मुझे पता है कि तुम और स्वाति पहले सेक्स कर चुके हो।

पूछने पर उन्होंने बताया कि स्वाति ने ही उन्हें बताया था।

मैं थोड़ा डर गया मगर भाभी की मर्ज़ी देख मेरा भी डर निकल गया और हम एक दूसरे को बेतहाशा चूमने लगे क्योंकि शाम का समय था और पार्क इतने बड़ा है कि हमें कोई भी देख नहीं सकता था इसलिए मैंने अपनी पैंट की ज़िप खोल कर अपना लण्ड बाहर निकल लिया और भाभी को उसे चूसने को कहा।

मगर भाभी ने मना कर दिया।

इस बार मैंने भी कोई जबरदस्ती नहीं की और चुपचाप अपनी ज़िप बंद कर ली। फिर हम दोनों ने एक बार फिर एक दूसरे को चूमा और घर के लिए निकल पड़े।

जैसे ही हम घर पहुँचे तो मम्मी और पापा ने हमें खाने के लिए बुलाया मगर मुझे भूख नहीं थी इसलिए मैंने मना कर दिया और मैं सीधा अपने कमरे की तरफ चल दिया। कमरे में पहुँच कर मुझे अपने ऊपर अफ़सोस हो रहा था क्योंकि भाभी की हाँ के बावजूद मैं उन्हें चोद नहीं पाया।

मैंने सोच लिया कि आज रात को मैं उन्हें जरूर चोदूँगा इसलिए मैं मम्मी और पापा के सोने का इंतज़ार करने लगा।

मैंने मोबाइल में 12 बजे का अलार्म लगा दिया और सो गया। रात को जैसे ही अलार्म बजा, मैं उठ गया और अपने रात के पहने हुए कपड़े उतार कर सिर्फ अंडरवियर और बनियान में भाभी के कमरे की तरफ चल दिया।

जब मैं भाभी के कमरे के पास पहुँचा तो देखा कि भाभी के कमरे की बत्ती जल रही है और भाभी के अलावा किसी और की भी आवाज़ आ रही है मगर आवाज़ साफ़ ना होने कि वजह से मुझे समझ नहीं आया कि भाभी किससे बात कर रही है।

मैंने कमरे का दरवाजा खोलने की कोशिश कि मगर दरवाजा अंदर से बंद था। मैंने भी दरवाजा बजाना ठीक नहीं समझा क्योंकि इससे मम्मी पापा जग सकते थे, मैं अपने कमरे में वापिस आ गया मगर एक सवाल मुझे बार बार परेशान कर रहा था कि भाभी किससे बात कर रही थी और मैं यही सोचते सोचते सो गया।

सुबह करीब 8 बजे भाभी मुझे जगाने आई। जब मैं उठा तो देखा कि घर पर मेरे और भाभी के अलावा कोई नहीं था।

मैंने भाभी से पूछा- मम्मी-पापा कहाँ हैं?

तो उन्होंने कहा- वो कल रात को दस बजे ही तुम्हारी लक्ष्मी नगर वाली बुआ के यहाँ चले गए क्योंकि तुम्हारी बुआ की तबीयत ठीक नहीं है।

मैं तभी समझ गया कि इससे अच्छा मौका मुझे जिंदगी में कभी नहीं मिलेगा।

भाभी ने कहा- तुम नहा-धो कर फ्रेश हो जाओ, मैं तुम्हारे लिए चाय बना कर लाती हूँ।

मैंने देर ना करते हुए भाभी का हाथ पकड़ लिया और कहा- जो उस दिन नहीं हो पाया उसे आज पूरा कर लेते हैं।

भाभी की तरफ से कोई जवाब नहीं आया मगर उन्होंने इस बात पर कोई नाराज़गी भी नहीं दिखाई।

मैंने इसे उनकी हाँ समझ कर उनके होंठो पर चुम्बन जड़ दिया, अपना एक हाथ उनकी कमर में डाल कर चारों तरफ से उन्हें जकड़ लिया और उनके शरीर के हर भाग पर चुम्बनों की बारिश कर दी। इससे भाभी भी जोश में आ गई और उन्होंने मेरा एक हाथ पकड़ कर अपने चूचों पर रख दिया और हम दूसरे को पकड़ कर चूमते रहे। मैं बीच-बीच में भाभी के चूचे भी दबा दिया करता थे जिससे वो चिल्ला उठती थी।

थोड़ी देर बाद मैंने उनसे कहा- भाभी ! मैं तुम्हें चोदना चाहता हूँ !

तो वो हँस दी।

कहते हैं ना कि हंसी तो फँसी।

मैंने उन्हें अपनी गोद में उठा लिया और उन्हें अपने कमरे में ले गया। फिर मैंने उनसे कहा- भाभी ! भैया का कितना बड़ा है?

तो भाभी ने कहा- वैसे तो तुम मुझे चोदना चाहते हो और अभी भी मुझे भाभी बोल रहे हो? तुम मुझे प्रिया कह कर बुलाओ, मुझे अच्छा लगेगा और ऐसे सवाल पूछ कर क्यों समय खराब कर रहे हो? फिर मैंने इस बेकार के सवालों को छोड़ते हुए प्रिया के बाल पकड़ लिए और फिर से उसके होंठ चूसने लगा ताकि उसका जोश खत्म ना हो और चुदाई में ज्यादा मजा आये। मैंने नाइटी के ऊपर से ही उनके चूचे मसल दिए जिससे वो चिल्ला उठी।

मैंने अपने कपड़े उतार दिए और मैंने भाभी की भी नाइटी खींच कर उतार दी। भाभी ने खुद ही अपनी ब्रा के हुक खोल दिए और अपने स्तनों को आजाद कर दिया। भाभी के स्तन सच में स्वाति दीदी से भी बड़े थे, प्रिया भाभी के स्तन 36" से कम नहीं थे।

मैंने धक्का देकर भाभी को बिस्तर पर पटक दिया और अपना मुँह उनके स्तनों में गड़ा दिया और स्तनपान करने लगा। मेरे स्तनपान करने के कारण भाभी धीमी धीमी सिसकारियाँ लेने लगी मगर शायद भाभी को इस सब में मजा आ रहा था।

फिर मैंने अपने हाथ से अपना अंडरवीयर उतार दिया और फिर थोड़ी ही देर में उनकी पैंटी भी उतार फेंकी। मैंने देखा कि चूत पर एक भी बाल नहीं था शायद प्रिया ने अपनी चूत की ताजी-ताजी सफाई की थी।

मैं बिस्तर पर लेट गया और भाभी मेरा लण्ड चूसने लगी। थोड़ी ही देर में हम 69 की अवस्था में आ गए और प्रिया मेरा लण्ड और मैं उसकी चूत चूसने लगा। मैंने धीरे से उनकी चूत पर काट लिया जिससे भाभी जोर से चिल्ला उठी।

थोड़ी ही देर में हमने दोनों ही पानी छोड़ दिया।

फिर मैंने प्रिया को उठाया और…

कहानी जारी रहेगी !

आपको मेरे जीवन की कहानी का यह भाग कैसा लगा मुझे मेल करके जरूर बताइए ।

amitcoolwanthot@gmail.com


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एक के ऊपर एक - Ek Ke Upar Ek


एक के ऊपर एक
प्रेषक : अर्जुन

मेरा नाम अर्जुन है, मैं शहर में काम करता हूँ।

मेरी चचेरी बहन का नाम शिप्रा है, वो बहुत ही सेक्सी है।

मैं आपको एक बार की बात बताता हूँ, शिप्रा एम बी ए करके घर आई हुई थी और मैं भी घर पर ही था। जब भी वो नहा कर निकलती, मैं उसे जरूर देखता और आँखों आँखों में उसे नंगी करके चोदने लगता।

मैं हमेशा उसके करीब जाने की कोशिश करता पर घर पर काफ़ी लोग होने की वजह से गड़बड़ हो जाती। अब मुझे पता चला कि उसे बैंक सर्विस के लिए तैयारी करनी है।

तो मैंने कहा- जहाँ मैं रहता हूँ वहाँ काफी कोचिंग संस्थाएँ हैं और मैं भी काफी अच्छे से तैयारी करा दूँगा।

पर मेरे मन में तो लड्डू फूट रहे थे !

पर घर में कई लोगों ने कहा- शिप्रा को अलग कमरा दिला देना।

मुझे इससे बेचैनी होने लगी, मैंने कहा- अलग अलग रहेंगे तो खर्चा दोगुना होगा, साथ साथ रह लेंगे घर पर !

सब मान गए, पर घर से दोनों को सब सामान अलग अलग मिल गया जिससे कोई चीज़ आपस में बाँटना न पड़े।

अब हम दोनों शहर आ गए, शिप्रा ने कोचिंग में प्रवेश ले लिया, मैं काम पर चला जाता, शाम को शिप्रा को थोड़ा पढ़ा देता।

क्योंकि हमारे पास बेड था तो मैं रात को उसे छू लेता था, वो मेरा हाथ हटा देती थी।

फिर दिसम्बर का महीना आ गया, ठण्ड बहुत बढ़ गई। शिप्रा और मुझे दोनों को ठण्ड लगती रहती थी तो मैंने शिप्रा से कहा- दोनों रजाई एक के ऊपर एक करके एक साथ सो जाते हैं।

शिप्रा मान गई।

अब क्या था !

शिप्रा ने उस रात मरजीना सलवार-टॉप पहना था। कुछ देर बाद वो सो गई, मैं भी सो गया। रात को उसका पैर मेरे पैर पर लगा मेरी आँख खुल गई। मेरा बदन गर्म होने लगा, मैं धीरे धीरे उसके पैर पर पैर घुमाने लगा। उसने कोई विरोध नहीं किया, शायद वो सोई हुई थी।

फिर मैं धीरे धीरे उसकी सलवार अपने पैर से घुटनों तक ऊपर ले आया। फ़िर मैंने उसके पेट पर हाथ घुमाना शुरु किया। उसका पेट बहुत मुलायम था, मुझे बहुत मजा आ रहा था। मैंने धीरे-धीरे उसकी चूची पर हाथ रखा, मुझे डर लग रहा था पर मजे के कारण मैं अपने आप को रोक नहीं पा रहा था।

मैंने उसकी चूची जोर से दबा दी, वो सिहर उठी, बोली- भाई, यह क्या कर रहे हो?

मैंने कहा- कुछ नहीं ! तुम भी मजे लो !

वो मना करने लगी, उसने कहा- कुछ हो गया तो?

मैंने कहा- उसका उपाय है मेरे पास !

बहुत मुश्किल से ही सही पर वो मान गई।

मैंने पहले उसकी सलवार उतारी, फिर मैंने उसका टॉप उतारा। वो सफ़ेद ब्रा और लाल पैंटी में थी, बहुत सेक्सी लग रही थी।

मैं उसे इस रूप में देखते ही झड़ गया।

अब मैंने उसे पूरा नंगा कर दिया फिर उसने मुझे नंगा किया। वो मेरा लण्ड देख कर डरने लगी, कहने लगी- यह तो बहुत बड़ा है, बहुत दर्द होगा, मेरी तो फट जाएगी?

मैंने कहा- अगर दर्द होगा तो मैं नहीं करूँगा।

वो मान गई।

अब मैं उसकी जांघों पर हाथ घुमाने लगा, वो गर्म होने लगी। मैं उसके होंठ चूमने लगा तो वो पूरी गर्म हो गई।

अब मैंने उसे सीधा किया और पैर मोड़ कर उठाने के लिए कहा।

उसने ऐसा ही किया। मैंने अपना लण्ड क्रीम लगा कर उसकी चूत पर सटा दिया, उसकी चूचियाँ दबाता रहा और होंठों पर चुम्बन करता रहा। फ़िर धीरे से धक्का मारा तो शिप्रा को काफी दर्द हुआ।

वो चीखने लगी तो मैं रुक गया, एक-दो मिनट मैंने कुछ नहीं किया। जब वो शांत हो गई तो मैंने फिर धक्का मारा और इस बार पूरा लण्ड शिप्रा की योनि में जा चुका था और वो जोर से चिल्लाई।

मैंने उसके मुँह पर अपने होंठ रख दिए और कस कर चुम्मा लेने लगा।

जब उसका दर्द कम हो गया तो मैंने धक्के मारने चालू किए और पाँच मिनट बाद हम दोनों झड़ने वाले थे, मैंने कहा- अपना अमृत रस कहाँ निकालूँ?

उसने कहा- अंदर ही छोड़ दो !

मैंने ऐसे ही किया, और वो हँसते हुए मुझसे लिपट गई और मुझे चूमने लगी।

फिर उस रात मैंने उसे तीन बार चोदा।

arjrj@rediffmail.com

मेरा प्यारा देवर-3 - Mera Pyara Devar 3

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